सदर अस्पताल से फरार कैदी को कदमा जंगल से दबोचा
बंगाल में छुप कर रहता था समीर, गठित टीम ने बरहेट पहुंचते ही की नाकेबंदी
साहिबगंज. सदर अस्पताल से बीते ढाई माह पहले इलाज कराने आये दो कैदी अमीर व समीर वार्ड से सुरक्षाकर्मियों को चकमा देकर फरार हो गये थे. बंदी मो समीर अंसारी उर्फ तैमुद्दीन अंसारी को बरहेट थाना प्रभारी पवन कुमार व जिरवाबाड़ी पुलिस के सहयोग से कदम के जंगल से रविवार रात करीब 12:00 बजे गिरफ्तार कर लिया गया है. सदर एसडीपीओ किशोर तिर्की ने सोमवार को जिरवाबाड़ी थाना प्रभारी के कार्यालय कक्ष मे प्रेस वार्ता कर बताया कि कैदी के फरार होने के बाद पुलिस अनुसंधान में जुटी हुई थी. उन्होंने बताया कि लोकेशन ट्रेस होते ही एसपी के निर्देश पर टीम गठित की गयी. समीर अंसारी को पकड़ने का जाल बिछाया गया. समीर को बरहेट पहुंचते ही इलाके को नाकेबंदी कर दी गयी. वह लाल रंग की बाइक पर सवार था. पहचान थाना प्रभारी को पहले ही हो गयी थी. पुलिस को देखते ही कदमा के पास बाइक सड़क पर खड़ी कर जंगल में घुस गया. एसडीपीओ ने बताया कि तकरीबन तीन घंटे की छापेमारी के बाद जंगल में बने बाथरूम से समीर को गिरफ्तार कर लिया गया. बताया कि इसके पूर्व समीर पश्चिम बंगाल के कोलकाता, आसनसोल, मुर्शिदाबाद के रास्ते फरक्का. फिर पाकुड़ होते हुए बरहेट पहुंचा था. पूछताछ के दौरान यह भी बात सामने आयी कि जिरवाबाड़ी थाना क्षेत्र अंतर्गत कबूतरखोपी निवासी धर्मेंद्र यादव ने उसे रात आरी पत्ती (लोहा काटने का औजार) लाकर दिया था, जिससे कैदी वार्ड की खिड़की काटकर दोनों बंदी फरार हुए थे. छापामारी दल में बरहेट थाना प्रभारी पवन कुमार, जिरवाबाड़ी थाना के एसआइ बंटी यादव, एएसआइ मो जमील, एएसआइ पवन कुमार, महानंद ओझा आदि शामिल थे. सात जून को अस्पताल के कैदी वार्ड से हुआ था फरार गौरतलब है कि बीते 7 जून को सदर अस्पताल स्थित कैदी वार्ड से मंडल कारा के दो बंदी रात करीब 12 बजे खिड़की तोड़कर फरार हो गये थे. ड्यूटी पर तैनाव हवलदार सुधीर सिंह को जैसे इस बात की खबर लगी. उन्होंने जिरवाबाड़ी थाना प्रभारी अनिश पांडे को सूचना दी. बताया गया था कि 24 मई को मंडल कारा से समीर अंसारी पिता स्वर्गीय अमानत अंसारी को इलाज के लिए सदर अस्पताल में भर्ती कराया था. इसके बाद छह जून को मंडल कारा से दूसरा बंदी आमिर अंसारी को गिर जाने के बाद इलाज के लिए भर्ती कराया गया. शरीर के कुछ हिस्सों में चोट लगी थी. घटना वाली रात भी रोज की तरह सभी बंदी अपने-अपने बेड पर सोने चले गये थे. रात के करीब 12:00 बजे सुरक्षा में तैनात हवलदार ने देखा कि समीर और अमीर अपने बेड पर नहीं थे. खिड़की टूटी है. इसके बाद सूचना पाकर पुलिस मौके पर पहुंची. गिरफ्तारी को लेकर छापेमारी की गयी.
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