Jharkhand news, Simdega news : सिमडेगा (रविकांत साहू) : सिमडेगा जिला के शहरी क्षेत्र से लगभग 8 किलोमीटर की दूरी पर स्थित शंख नदी से बड़े पैमाने पर अवैध रूप से बालू का उठाव हो रहा है. इसके बावजूद अधिकारी इस ओर से आंख बंद किए हुए हैं या यूं कहें कि अधिकारी इस ओर ध्यान देना ही नहीं चाहते हैं. अधिकारियों की अनदेखी के कारण राज्य सरकार को आर्थिक नुकसान उठाना पड़ रहा है. इस संबंध में अधिकारियों से प्रतिक्रिया लेनी की कोशिश की गयी, लेकिन कोई जवाब नहीं मिला.
बता दें कि शहरी क्षेत्र के अलावा ग्रामीण क्षेत्रों में भी बालू की भारी किल्लत है. इस किल्लत के बीच बालू माफियाओं द्वारा अवैध तरीके से नदी से बालू का उठाव करके ऊंचे दामों पर लोगों को बेचा जा रहा है. जो बालू पूर्व में 500 से 700 रुपये ट्रैक्टर बिका करती थी, वही आज 2500 रुपये प्रति ट्रैक्टर बिक रही है. अवैध रूप से बालू उठाव की खबरें अखबार और नेताओं के माध्यम से अधिकारियों के समक्ष उठाया गया, लेकिन अधिकारी इस ओर ध्यान ही नहीं देना चाहते.
इधर, अधिकारियों से यह भी पूछा गया कि शंख नदी से वैध रूप से या अवैध रूप से बालू का उठाव किया जा रहा है. इसकी जानकारी दें, लेकिन इस संदर्भ में भी किसी प्रकार की जानकारी अधिकारी देना उचित नहीं समझ रहे हैं. अधिकारियों की उदासीनता का लाभ बालू माफिया उठा रहा है और सबसे अधिक परेशानी घर बनाने वालों को उठानी पड़ रही है.
Also Read: Chhath Puja 2020 : झारखंड के छठव्रती नदी- तालाब के घाट पर दे सकेंगे अर्घ्य, हेमंत सरकार ने कुछ शर्तों के साथ दी अनुमति
सिमडेगा विधायक भूषण बाड़ा ने कहा कि अवैध बालू के उठाव की जानकारी उन्हें नहीं है. लेकिन, क्षेत्र की नदियों से अवैध रूप से अगर बालू का उठाव हो रहा है, तो अधिकारी इसे रोके तथा जांच के बाद दोषी लोगों पर कार्रवाई करें.
इधर, कांग्रेस सेवा दल के प्रदेश महामंत्री प्रदीप केशरी ने भी शंख नदी एवं पालामाड़ा नदी से सुबह और शाम दर्जनों ट्रैक्टर एवं अन्य वाहनों से अवैध बालू का उठाव की बात कही. श्री केशरी ने कहा कि बहुत दुख के साथ कहना पड़ रहा है की ट्रैक्टरों के द्वारा अवैध बालू ऊंचे दामों पर बेचा जा रहा है. कोरोना के पूर्व शहर में 700 रुपये प्रति ट्रैक्टर बालू मिलता था, जो अब 2000 से 2500 रुपये के बीच बालू माफिया बालू को बेच रहे हैं. उन्होंने अवैध बालू के उठाव पर रोक लगाने की मांग जिला प्रशासन से की है.
Posted By : Samir Ranjan