अधिकांश बैंकों का सायरन ठीक से नहीं करता है काम

चाईबासा : पश्चिम सिंहभूम में बैंकों में लूटपाट की घटना कोई नयी नहीं है. पूरे जिले में बैंकों की 127 शाखाएं है. केवल चाईबासा में ही 30 बैंकों की शाखाएं हैं. लेकिन इन बैंकों की सुरक्षा पुख्ता नहीं होने के कारण बैंक डकैती की घटनाओं को अंजाम देकर अपराधी आसानी से फरार हो जाते हैं. […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | May 18, 2017 6:11 AM

चाईबासा : पश्चिम सिंहभूम में बैंकों में लूटपाट की घटना कोई नयी नहीं है. पूरे जिले में बैंकों की 127 शाखाएं है. केवल चाईबासा में ही 30 बैंकों की शाखाएं हैं. लेकिन इन बैंकों की सुरक्षा पुख्ता नहीं होने के कारण बैंक डकैती की घटनाओं को अंजाम देकर अपराधी आसानी से फरार हो जाते हैं. बैंकों में सुरक्षा के नाम मात्र सीसी टीवी लगाये गये हैं.

जिससे सही तौर पर लोगों की पहचान तक नहीं हो पाती है. कुछ माह पूर्व पुलिस की ओर से बैंकों के निरीक्षण में पाया गया था कि सीसीटीवी ठीक से लगाये नहीं गये हैं. इनका एंगल भी ठीक नहीं है. बैंकों के एटीएम में भी इसी तरह के सीसी टीवी कैमरे लगे है. पिछले दिनों एटीएम में ग्राहकों के साथ हुये ठगी के जांच में भी जो सीसीटीवी फुटेज सामने आये है, उसके जरिये पुलिस आज तक किसी को भी नहीं पकड़ पायी है. पिछले दिनों पुलिस की ओर से बैंकों के निरीक्षण में पाया गया कि अधिकतर बैंकों का सायरन ठीक से काम नहीं कर रहा है. कई बैंकों के सायरन ऑन ही नहीं रहते है. कई बैंकों के शाखा में सीसीटीवी कैमरे भी नहीं हैं. जबकि इसके लिए पहले ही निर्देश दे दिए गए थे.

स्टॉफ व मैनेजर को सायरन
सिस्टम की जानकारी नहीं
कई बैंकों के स्टॉफ के साथ मैनेजर को भी सायरन सिस्टम की जानकारी नहीं है. कई बैंकों में अब भी सायरन खराब पड़ा है. कई बैंकों में सुरक्षा गार्ड नहीं है. बैंकों में इस तरह सुरक्षा के प्रति लापरवाही को गंभीरता से लेते हुए एसपी बैंक अफसरों के साथ बैठक कर सुरक्षा के तगड़े इंतजाम करने का निर्देश जारी किया था.
बैंक ऑफ बड़ौदा में नहीं है गार्ड
शहर के पवन चौक के समीप स्थित बैंक ऑफ बड़ौदा बैंक की सुरक्षा भगवान भरोसे हैं. यहां कोई गार्ड तैनात नहीं किया गया है. बैंक के मैनेजर नाजीर तिरीया ने बताया कि बैंक में गार्ड नहीं होने की सूचना रीजनल ऑफिस को दी गयी है. जब से बैंक चक्रधरपुर में खुला है तभी से सुरक्षा गार्ड नहीं है. एक माह में एक बार चक्रधरपुर पुलिस द्वारा बैंक की गश्ती की जाती है.
एक सुरक्षा गार्ड के भरोसे केनरा बैंक
शहर के पवन चौक स्थित केनरा बैंक एक सुरक्षा गार्ड जीवन जामुदा के भरोसे है. एक गार्ड ही कैश व मेन गेट के साथ-साथ बैंक की पूरी सुरक्षा व्यवस्था देखता है. बैंक मैनेजर मो इशराफील ने बताया कि वर्षों से बैंक में एक ही सुरक्षा गार्ड है. हालांकि प्रत्येक दिन चक्रधरपुर थाना की पुलिस बैंक की गश्ती करती है. उन्होंने कहा कि सुरक्षा गार्ड दो-तीन दिन के लिए अवकाश में है. जिसके लिए एक नंबर टीओपी के सिपाही बालेश्वर यादव केवल एक डंडे के सहार बैंक की सुरक्षा कर रहे हैं. सिपाही श्री यादव ने बताया कि एक नंबर टीओपी के अंदर कुल 10 बैंक आते हैं. जिसकी गश्ती केवल दो पुलिसकर्मी एक हवलदार संतोष कुमार व सिपाही बालेश्वर यादव करते हैं.
बैंक ऑफ इंडिया: एक गार्ड के भरोसे बैंक
असलम चौक स्थित बैंक ऑफ इंडिया में कैश, मेन गेट समेत पूरे बैंक की सुरक्षा एक ही गार्ड पर निर्भर है. सुरक्षा गार्ड राम चरण सामाड ने बताया कि बैंक में अधिक भीड़ होने पर मुझे मेन गेट को छोड़ काउंटर पर खड़ा होना पड़ता है. साथ ही साथ कैश की भी निगरानी करनी पड़ती है.
स्टेट बैंक में एक हवलदार समेत 10 गार्ड तैनात
शहर के चेकनाका स्थित भारतीय स्टैंड बैंक सुरक्षा के दृष्टिकोण से काफी बेहतर है. इस बैंक में हवलदार राम अवतार सिंह की देखरेख में कुल दस सदस्यों की सुरक्षा गार्ड है. सुरक्षा गार्ड में राज किशोर महतो, कांजीलाला प्रमाणिक, लालबाबू महतो, मधुसूदन महतो, भुवनेश्वर महतो, बालकिशोर महतो, गणेश महतो, परमेश्वर महतो, महेंद्र महतो व यादव महतो हैं. हवलदार श्री सिंह ने बताया कि प्रत्येक दो घंटे में गार्ड बदला जाता है. लेकिन बैंक के मुख्य द्वार में उपभोक्ताओं की भीड़ होने के कारण संत्री को परेशानी होती है. भीड़ के कारण बैंक कौन घुस रहा है इसका पता नहीं चल पाता है. श्री सिंह ने कहा कि बैंक की सुरक्षा के साथ साथ शहर के विभिन्न एटीएम में पैसे डालने के दौरान सुरक्षा देने के लिए भी गार्ड जाते हैं. बैंक में कैश गार्ड व संत्री प्रत्येक दो-दो घंटे में बदले जाते हैं. साथ ही बैंक की सुरक्षा सीसीटीवी कैमरे से रखी जाती है.

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