जैंतगढ़ : जून के तीसरे सप्ताह में धरती प्यासी, खेती शुरू नहीं होने से मायूसी
40 डिग्री से ज्यादा रह रहा तापमान, 26 जून तक स्कूलों में छुट्टी की मांग
– बारिश के लिए हो रही आराधना, गावों में किये जा रहे कीर्तन
प्रतिनिधि, जैंतगढ़जून के तीसरे सप्ताह में भी जैंतगढ़ आसपास क्षेत्र की जमीन प्यासी है. विगत दो माह से क्षेत्र में सूखा पड़ा है. बारिश की एक बूंद नसीब नहीं हुई है. आषाढ़ में सड़कों से धूल उड़ रही है. जमीन फटने लगी है. खेती का काम शुरू भी नहीं हो पाया है, जबकि रजो संक्रांति के समय खेतों में धान की फसल अंकुरित होकर बढ़ी हो जाती थीं. बारिश के अभाव में क्षेत्र झुलस रहा है. अभी भी अधिकतम तापमान 40 डिग्री के पार है. गर्मी से खेत, मैदानों और पडिया जमीन पर दरारें पड़ गयी हैं. गर्मी के मारे लोग घरों में दुबके रह रहे हैं. रोज दोपहर के बाद काले-काले बादल उमड़-घुमड़ रहे हैं, लेकिन इंद्रदेव की कृपा नहीं हो रही है. अभिभावकों ने बढ़ती गर्मी को देख एक सप्ताह और यानी 26 जून तक छुट्टी देने की मांग की है.
उमस भरी गर्मी के बीच बिजली की आंख-मिचौरी जारी
वहीं, दिनभर झुलसने वाली गर्मी के बाद रात को भी चैन नसीब नहीं है. उमस के मारे लोगों की बेचैनी बढ़ रही है. ऊपर से बिजली की आंख-मिचौनी कोढ़ लोगों की परेशानी दोगुनी कर दे रही है. लोग गर्मी से निजात पाने के लिए लोग आराधना कर रहे हैं. गावों में हरिनाम संकीर्तन का आयोजन कर अच्छी बारिश के लिए प्रार्थना की जा रही है. ऐसे में सरकार ने स्कूलों को खोल दिया है, जिससे कई छात्र परेशान हैं. वापसी के समय छात्र एक-एक गमछा में तीन चार छात्र छाया बनाकर घर पहुंच रहे हैं. स्कूलों में दिनभर छात्र गर्मी से परेशान दिखे. वापस घर लौटे तो धूप के मारे बच्चों के झुलसे चेहरे देख अभिभावकों के होश फाख्ता हो गए.
कोट
छत्तीसगढ़, यूपी व ओडिशा सभी जगहों पर गर्मी की छुट्टियां बढ़ा दी गयी हैं, तो झुलस रहे झारखंड के बच्चों के साथ अत्याचार क्यों. अभिभावकों, मानकी- मुंड संघ, मानव अधिकार संगठन, जन चेतना मंच और युवा जागरूक मंच ने छात्रों के स्वास्थ्य हित में एक सप्ताह और छुट्टी बढ़ाने की मांग की है.
-निवास तिरिया, अभिभावक
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