उद्धव ठाकरे के खिलाफ भड़काऊ बयान देने के मामले में नारायण राणे बरी, कही थी तमाचा मारने की बात
महाराष्ट्र के रायगढ़ जिले की एक अदालत ने केंद्रीय मंत्री नारायण राणे को राज्य के तत्कालीन मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के खिलाफ भड़काऊ बयान दिए जाने के मामले में आरोपमुक्त कर दिया है.
Narayan Rane: महाराष्ट्र के रायगढ़ जिले की एक मजिस्ट्रेट अदालत ने केंद्रीय मंत्री एवं बीजेपी (BJP) के वरिष्ठ नेता नारायण राणे को राज्य के तत्कालीन मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के खिलाफ भड़काऊ बयान दिए जाने के मामले में शनिवार को आरोपमुक्त कर दिया है.
जानिए नारायण राणे ने क्या कुछ कहा था…
मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट एसडब्ल्यू उगाले ने केंद्रीय मंत्री नारायण राणे को बरी किया. बीजेपी नेता नारायण राणे के खिलाफ रायगढ़ जिले के महाड में 2021 में आईपीसी की विभिन्न धाराओं के तहत प्राथमिकी दर्ज की गई थी. उन्हें उनकी टिप्पणी के लिए रत्नागिरी जिले से गिरफ्तार किया गया था. नारायण राणे ने कहा था, यह शर्मनाक है कि उद्धव ठाकरे को स्वतंत्रता प्राप्ति के वर्ष के बारे में नहीं पता है. वह अपने भाषण के दौरान यह पूछने के लिए पीछे मुड़ गए कि आजादी को कितने वर्ष हो गए हैं. अगर मैं वहां होता, तो (उन्हें) जोरदार तमाचा मार देता.
नारायण राणे के खिलाफ दर्ज की गई थीं 4 प्राथमिकियां
भारतीय जनता पार्टी (BJP) के नेता नारायण राणे ने दावा किया था कि उद्धव ठाकरे 15 अगस्त पर महाराष्ट्र की जनता के नाम अपने भाषण में यह भूल गए थे कि स्वतंत्रता प्राप्ति को कितने वर्ष हो गए. इस टिप्पणी के लिए नारायण राणे के खिलाफ महाराष्ट्र में चार प्राथमिकियां दर्ज की गई थीं.
मामला राजनीति से प्रेरित, राणे के वकील ने कोर्ट में कहा
सुनवाई के दौरान नारायण राणे के वकील ने कहा कि उन्होंने ऐसा कोई बयान नहीं दिया जो धर्म, नस्ल, जन्म स्थान, निवास, भाषा, जाति या समुदाय या किसी भी आधार पर विभिन्न समूहों के बीच दुश्मनी को बढ़ावा दे रहा हो. उन्होंने कहा कि मामला राजनीति से प्रेरित है और इसलिए कानून की दृष्टि से खराब है. हालांकि, केंद्रीय मंत्री नारायाण राणे ने उद्धव ठाकरे के खिलाफ अपनी टिप्पणी का बचाव करते हुए कहा था कि उन्होंने ऐसा करके कोई अपराध नहीं किया है.
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