मूसलाधार बारिश के कारण महाराष्ट्र के तीन जिलों में नदियां उफान पर हैं और बाढ़ जैसी स्थिति बनी हुई है. वहीं राज्य में एक जून से अब तक बारिश और बाढ़ के कारण 105 लोगों की मौत हुई है. राज्य सरकार ने सोमवार को इस आशय की जानकारी दी. राज्य आपदा प्रबंधन विभाग ने एक रिपोर्ट में कहा कि महाराष्ट्र के ज्यादातर हिस्सों में सामान्य बारिश हो रही है लेकिन रत्नागिरि, गढ़चिरौली और वर्द्धा जिलों में नदियों के उफान पर होने के कारण बाढ़ जैसी स्थिति बन गयी है.
Maharashtra: Flood situation remains grim in parts of Wardha due to incessant rainfall
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— ANI Digital (@ani_digital) July 19, 2022
वहीं, मुंबई में लगातार दूसरे दिन सोमवार को बारिश नहीं हुई, लेकिन बादल छाए रहे. राज्य में एक जून से 17 जुलाई के बीच बाढ़, बिजली गिरने, भूस्खलन, पेड़ उखड़ने और भवन आदि गिरने की घटनाओं में अभी तक 105 लोगों की मौत हुई है. आपदा प्रबंधन विभाग के अनुसार, पिछले 24 घंटों में एक भवन गिरने से सोलापुर जिले में एक व्यक्ति की मौत हुई है.
रिपोर्ट के अनुसार, महाराष्ट्र के ज्यादातर हिस्सों में सामान्य बारिश हो रही है, लेकिन कोंकण क्षेत्र के रत्नागिरि जिले और पूर्वी महाराष्ट्र के गढ़चिरौली और वर्द्धा जिलों में नदियों के उफान पर होने के कारण बाढ़ जैसी स्थिति बनी हुई है. ताजा आंकड़ों के अनुसार, मूसलाधार बारिश से दो गांव प्रभावित हुए हैं, एक व्यक्ति लापता है जबकि एक व्यक्ति जख्मी हो गया है.
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महाराष्ट्र में बाढ़ प्रभावित इलाकों से अब तक 11 हजार से अधिक लोगों को सुरक्षित निकाला जा चुका है. वहीं, 189 मवेशियों की मौत हुई है. राज्य के बाढ़ प्रभावित जिलों में प्रशासन द्वारा 75 बाढ़ राहत शिविरों को संचालित किए जा रहे हैं. केंद्र की ओर से भी एनडीआरएफ की 12 टीमों को तैनात किया गया है. इनमें रत्नागिरी, कोल्हापुर, मुंबई, पालघर, सतारा, रायगढ़, गढ़चिरौली और वर्द्धा सिंधुगुर्ग में टीमों की तैनाती की गई है.
(इनपुट- भाषा)