मुंबई : छत्रपति शिवाजी महाराज पर राज्यपाल भगत सिंह कोश्यारी की विवादित टिप्पणी को लेकर महाराष्ट्र में शनिवार को महा विकास अघाड़ी (एमवीए) का चौतरफा प्रदर्शन जारी है. भारत की औद्योगिक राजधानी मुंबई में भगत सिंह कोश्यारी की टिप्पणी के खिलाफ महा विकास अघाड़ी का विरोध मार्च निकाला गया. इस विरोध मार्च में महाराष्ट्र के पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे, महाराष्ट्र कांग्रेस अध्यक्ष नाना पटोले, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) के नेता अजित पवार समेत महा विकास अघाड़ी के कई नेता शामिल हुए.
महा विकास अघाड़ी के घटक दल शिवसेना (उद्धव बालासाहेब ठाकरे), राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (एनसीपी) और कांग्रेस के नेताओं ने कहा कि शिवाजी महाराज और महात्मा ज्योतिबा फुले जैसी शख्सियतों के अपमान, कर्नाटक की सीमा से लगे क्षेत्रों में मराठी भाषियों के साथ अत्याचार और औद्योगिक परियोजनाओं के राज्य से बाहर होने के खिलाफ मुंबई में प्रदर्शन किया जा रहा है.
विरोध मार्च में शामिल होंगे शरद पवार
मीडिया की रिपोर्ट के अनुसार, महा विकास अघाड़ी के विरोध मार्च में राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के प्रमुख शरद पवार के शामिल होने की संभावना है. इसके बाद वे एक रैली को संबोधित करेंगे. राज्य कांग्रेस अध्यक्ष नाना पटोले ने कहा कि प्रदर्शन एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाले शिवसेना गुट और भाजपा की सरकार के खिलाफ लोगों के गुस्से को प्रदर्शित करेगा.
इतिहास को बदलने की कोशिश नहीं करनी चाहिए
विरोध मार्च में शामिल राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के नेता दिलीप वाल्से पाटिल ने कहा कि छत्रपति शिवाजी महाराज, डॉ सावित्रीबाई फुले और अन्य महानुभावों के खिलाफ कुछ भी कहा जाए, तो महाराष्ट्र की जनता बर्दाश्त नहीं करेगी. शिंदे सरकार को हमारा संदेश है कि उन्हें राज्य के इतिहास को बदलने की कोशिश नहीं करनी चाहिए.
महाराष्ट्र से हटाकर गुजरात को दी गई प्रमुख परियोजना
इसके अलावा, एकनाथ शिंदे सरकार के खिलाफ महा विकास अघाड़ी की विरोध रैली में शामिल कांग्रेस नेता बालासाहेब थोराट ने कहा कि कुछ प्रमुख परियोजनाओं को महाराष्ट्र से हटाकर गुजरात को दे दिया गया और वहां भाजपा ने चुनाव जीता. महाराष्ट्र की जनता अपने वोट से भाजपा को कड़ा संदेश देगी.