मुंबई : कोरोना और ओमिक्रॉन के खतरों के बीच महाराष्ट्र में आज सोमवार से 1 से 12वीं कक्षा के छात्रों के लिए स्कूल एक बार फिर खोल दिए गए हैं. अब बच्चों को ऑनलाइन की जगह स्कूलों में जाकर ऑफलाइन पढ़ाई करनी होगी. स्कूल खुल जाने से खुशी का माहौल दिखाई दे रहा है. लंबे अरसे से घरों में कैद बच्चों में काफी उत्साह है. स्कूल में पढ़ाई करने आए बच्चों ने कोरोना प्रोटोकॉल का पालन करने का भरोसा भी दिया है.
महाराष्ट्र की राजधानी मुंबई में आज से 1-12वीं के छात्रों के लिए स्कूल फिर से खुल गए हैं. मुंबई के वडाला क्षेत्र के स्कूल के एक छात्र ने खुशी जाहिर करते हुए कहा कि स्कूल में वापस आकर अच्छा लग रहा है. ऑनलाइन कक्षा में दिक्कतें होती थीं. वहीं, एक अन्य छात्र ने कहा कि स्कूल वापस आकर अच्छा लग रहा है. हम स्कूल में सोशल डिस्टेंसिंग और मास्क का प्रयोग रखेंगे. अब स्कूलों में ऑफलाइन और ऑनलाइन दोनों तरीकों से क्लास चलेंगी.
Schools reopen for classes 1-12th in Mumbai. Visuals from Andhra Education Society in Wadala. "It feels good to be back. All of us should maintain social distancing, and wear masks," a student says pic.twitter.com/tcU4faBEDB
— ANI (@ANI) January 24, 2022
हालांकि, महाराष्ट्र में 1 से 12वीं कक्षा तक के बच्चों के स्कूलों को दोबारा खोल तो दिया गया है, लेकिन राज्य की उद्धव सरकार के इस फैसले पर सवाल भी उठ रहे हैं. मीडिया में इस बात की चर्चा भी की जा रही है कि कोरोना काल में महाराष्ट्र सरकार ने स्कूल खोलने में जल्दबाजी तो नहीं दिखाई है? मीडिया में इस बात की चर्चा की जा रही है कि बच्चों को स्कूल बुलाने के लिए कोविड एसओपी का पालन करना और दूसरा अभिभावकों की सहमति लेना आवश्यक है. ऐसे में सरकार ने बच्चों के अभिभावकों की सहमति ली है?
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बच्चों की शारीरिक, मानसिक और आध्यात्मिक विकास के लिए बच्चों का स्कूल जाना बेहद जरूरी है. अगर सारे स्कूल सारे कोरोना प्रोटोकॉल का सही से पालन कराते हैं, तो बच्चों के लिए खतरा काफी कम रहेगा. प्रोटोकॉल में बच्चों का मास्क पहनना, सोशल डिस्टेंसिंग का पालन और सैनिटाइजर का इस्तेमाल करते रहना बेहद जरूरी है.