राउरकेला. राउरकेला इस्पात संयंत्र (आरएसपी) ने भंज सांस्कृतिक परिसर का विकास एक बहुआयामी सांस्कृतिक केंद्र के रूप में करने के लिए ब्लू प्रिंट तैयार किया है, जो विशेषतः ओडिशा के समृद्ध साहित्य, कला, संस्कृति और विरासत को संरक्षित और बढ़ावा देने में उत्प्रेरक के रूप में कार्य करेगा. लंबी कानूनी लड़ाई के बाद सुंदरगढ़ जिला न्यायाधीश ने 30 अप्रैल के अपने फैसले में, अनाधिकृत कब्जेदार आदर्श पाठागार को भंज भवन और उसके परिधि क्षेत्र को खाली कर आदेश की तारीख से दो महीने की अवधि, यानी 30 जून 2024 तक आरएसपी को सौंपने का निर्देश दिया है. आरएसपी द्वारा अपने अधिकार में लेते ही पूरे परिसर का विकास कार्य शुरू कर दिया जायेगा.
प्रकाश, ध्वनि, वातानुकूलित और अन्य बुनियादी सुविधाओं का होगा विकास
आरएसपी की ओर से जारी विज्ञप्ति में कहा गया है कि जो सभागार जीर्ण-शीर्ण स्थिति में है, उसे प्रकाश, ध्वनि, वातानुकूलित और अन्य बुनियादी सुविधाओं के सुधार के साथ पूर्ण तरीके से बदल दिया जायेगा, ताकि इसे राष्ट्रीय स्तर का सभागार बनाया जा सके. इसके अलावा जिस सभागार के पास फिलहाल अग्नि सुरक्षा प्रमाणपत्र नहीं है, उसे अग्नि सुरक्षा के अनुरूप बनाया जायेगा. वार्षिक ओडिया साहित्य महोत्सव आरएसपी द्वारा शुरू की जाने वाली प्रमुख परियोजनाओं में से एक है, जिसमें प्रख्यात लेखकों, कवियों, भाषाविदों और अन्य रचनात्मक व्यक्तियों का जमावड़ा होगा, जो साहित्य चर्चा के साथ ही ओडिया भाषा के सर्वांगीण विकास और लोकप्रिय करने से संबंधित विषयों पर विचार-मंथन करेंगे. स्कूली बच्चों के बीच ओडिया में रचनात्मक लेखन कौशल विकसित करने के लिए विशेष पहल की जायेगी.
‘उपेंद्र भंज आर्ट गैलरी’ विकसित करने की योजना
आरएसपी की ओर से कहा गया है कि भंज भवन में एक ‘उपेंद्र भंज आर्ट गैलरी’ विकसित करने की योजना चल रही है, जो कलाकारों/शिल्पकारों/फोटोग्राफरों/छात्रों को अपनी कृतियों को प्रदर्शित करने के लिए एक आधुनिक और स्टाइलिश स्थान प्रदान करेगी. इसके अलावा, हर साल स्थानीय और राष्ट्रीय स्तर के कलाकारों को अपनी कलाकृतियां तैयार करने/पेंट करने और प्रदर्शित करने के लिए आमंत्रित करते हुए एक कला महोत्सव आयोजित किया जायेगा. कलाकारों को प्रोत्साहित करने के अलावा, यह महोत्सव इस्पात शहर के उभरते कलाकारों को प्रदर्शन का एक अनूठा अवसर प्रदान करेगा. कवि सम्राट उपेंद्र भंज की जयंती के अवसर पर हर साल एक संगीत समारोह आयोजित किया जायेगा, जिसमें स्थानीय के साथ ही स्थापित गायकों/संस्थानों द्वारा लोक, शास्त्रीय और समकालीन संगीत विधाएं पेश की जायेंगी, जो हर उम्र के लोगों को आकर्षित करेंगी.नाटक और थिएटर की कार्यशालाएं आयोजित होंगी
विज्ञप्ति के मुताबिक, प्रतिष्ठित राष्ट्रीय स्तर की रंगमंच अकादमियों/संस्थानों को गर्मियों की छुट्टियों के दौरान भंज भवन परिसर में रंगमंच कार्यशालाएं आयोजित करने और प्रतिभाशाली युवाओं को नाटक और थिएटर की विभिन्न बारीकियों में प्रशिक्षित करने के लिए आमंत्रित किया जायेगा. इसके साथ ही, प्रतिभाओं के इनक्यूबेटर के रूप में कार्य कर रहे भंज कला केंद्र की गतिविधियों का विस्तार किया जायेगा. भंज कला केंद्र में ओडिशी नृत्य और संगीत के लिए अनुसंधान केंद्र स्थापित करने का प्रयास किया जायेगा.ओडिशा के महान महान साहित्यकारों के जन्म वार्षिकी पालन, लोक/आदिवासी संगीत और कला उत्सवों का आयोजन इस योजना की कुछ अन्य महत्वपूर्ण विशेषताएं हैं.डॉ सनक मिश्र ने निर्माण में निभायी थी महत्वपूर्ण भूमिका
भंज भवन को संस्कृति के क्षेत्र में उत्कृष्टता का केंद्र बनाने के सपने के साथ राउरकेला इस्पात संयंत्र के पूर्व प्रबंध निदेशक डॉ सनक मिश्र ने भंज सांस्कृतिक परिसर के विकास, भंज भवन की पहली मंजिल और भंज भवन सभागार के निर्माण में महत्वपूर्ण भूमिका निभायी थी. राउरकेला इस्पात संयंत्र, डॉ मिश्र के इस सपने को आगे बढ़ाने और भंज भवन परिसर को एक संपन्न केंद्र बनाने, कला, साहित्य, संस्कृति और रचनात्मकता की समृद्धि और विविधता को बढ़ावा देने के साथ ही युवाओं को संवारने और प्रेरित करने के लिए प्रतिबद्ध है.
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