Rourkela News: मालगोदाम रेलवे साइडिंग में रखरखाव का अभाव, सुरक्षा का इंतजाम भी नहीं
Rourkela News: मालगोदाम रेलवे साइडिंग में बुधवार सुबह हुए हादसे ने यहां की अव्यवस्था की पोल खोल कर रख दी है.
Rourkela News: मालगोदाम रेलवे साइडिंग में बुधवार सुबह हुए हादसे ने यहां की अव्यवस्था की पोल खोल कर रख दी है. अंदाजा लगाया जा सकता है कि इतने बड़े हादसे के बाद पता चला कि रेल पटरियों के दोनों तरफ घनी झाड़ियां उगी हैं, जिनकी लंबे समय से सफाई नहीं हुई. केवल पटरी के किनारे ही नहीं, बल्कि पटरी के बीचों-बीच झाड़ियां उगी थीं, जिसे रेलवे ने साफ कराया, ताकि गाड़ी को बाहर निकाल सके. राउरकेला रेलवे स्टेशन से महज ढाई से तीन किमी दूर स्थित इस साइडिंग में अव्यवस्था का आलम चरम पर है. सुरक्षा के नाम पर भी यहां कुछ नहीं है. नियमों का ढंग से पालन नहीं होता. केवल लोडिंग और अनलोडिंग का काम पूरा कर लिया जाता है.
असामाजिक तत्वों का रहता है अड्डा
मालगोदाम साइडिंग में सुरक्षा की व्यवस्था ना के बराबर है. नतीजतन असामाजिक तत्वों का यह अड्डा बना हुआ है. अंदर शराब की बोतलें पड़ी हैं, जो बताती हैं कि यहां पर नशा करने के लिए लोग आते हैं. रेलवे की काफी संपत्ति यहां पर हैं, लेकिन इसकी सुरक्षा के लिए कोई खास व्यवस्था नहीं है. किसी को भी अंदर आने-जाने में कोई परेशानी नहीं होती. असामाजिक तत्वों की तो बात ही छोड़ दें, यहां प्रेमी युगल भी आने से नहीं हिचकते और उन्हें यह महफूज इलाका लगता है.मालगोदाम से शिफ्ट किया जायेगा गुड्स शेड, रेलवे जीएम ने दिये संकेत
मालगोदाम स्थित रेलवे के गुड्स शेड को अन्यत्र शिफ्ट करने की मांग लंबे समय से होती रही है. हालांकि, इसके लिए ठोस पहल अब तक नजर नहीं आयी है. समय-समय पर इसकी चर्चा होती है, लेकिन बाद में इसे ठंडे बस्ते में डाल दिया जाता है. मालगोदाम में बुधवार को मालगाड़ी के बेपटरी से हुए हादसे के बाद मौके पर पहुंचे दक्षिण पूर्व रेलवे के जीएम अनिल मिश्र ने इस गुड्स शेड को अन्यत्र शिफ्ट किये जाने के संकेत दिये हैं. दरअसल इस गुड्स शेड की लंबाई कम होने के कारण हमेशा हादसे की आशंका बनी रहती है. लिहाजा अच्छी लंबाई के लिए इसे अन्यत्र शिफ्ट करने का प्रयास किया जायेगा. अब रेलवे के जीएम ने उक्त बातें कही, तो उम्मीद जग रही है कि इस दिशा में प्रभावी कदम उठाये जायेंगे.भारी वाहनों का शहर में होता है प्रवेश
मालगोदाम साइडिंग की वजह से शहर के अंदर भारी वाहनों का प्रवेश होता है. साइडिंग से लोडिंग के लिए भारी वाहन आते हैं. भारी वाहनों के प्रवेश का मार्ग मालगोदाम रेलवे फाटक और बसंती डीएवी चौक के पास से है. शहर के अंदर से होकर इन भारी वाहनों को जाना पड़ता है. ज्यादातर रात के समय भारी वाहनों को प्रवेश कराया जाता है. लेकिन कभी-कभी दिन में भी भारी वाहनों का प्रवेश देखने को मिलता है. बसंती कॉलोनी जैसे आवासीय इलाके की सड़क से होकर भारी वाहनों के आने-जाने से हमेशा हादसों का खतरा बना रहता है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है