Gurjar Aandolan: पटरी पर बैठे आंदोलनकारी, कहा-सरकार बात करना चाहती है तो रेलवे ट्रैक पर आये
Gurjar Aandolan: राजस्थान के भरतपुर जिले में गुर्जर समुदाय के सदस्यों ने राज्य में शिक्षा और नौकरियों में आरक्षण की मांग को लेकर अपना विरोध प्रदर्शन जारी रखा है. आंदोलनकारियों ने कहा है कि वो प्रशासन के साथ बातचीत करने के लिए किसी भी सरकारी में नहीं जायेंगे. एएनआई के मुताबिक एक प्रदर्शनकारी ने कहा कि इस बार हमारा प्रतिनिधिमंडल सरकार के साथ बातचीत करने के लिए कहीं नहीं जाएगा. अगर सरकार बात करना चाहती है, तो वे यहां आकर रेलवे ट्रैक पर हमसे मिल सकते हैं.
राजस्थान के भरतपुर जिले में गुर्जर समुदाय के सदस्यों ने राज्य में शिक्षा और नौकरियों में आरक्षण की मांग को लेकर अपना विरोध प्रदर्शन जारी रखा है. आंदोलनकारियों ने कहा है कि वो प्रशासन के साथ बातचीत करने के लिए किसी भी सरकारी में नहीं जायेंगे. एएनआई के मुताबिक एक प्रदर्शनकारी ने कहा कि इस बार हमारा प्रतिनिधिमंडल सरकार के साथ बातचीत करने के लिए कहीं नहीं जाएगा. अगर सरकार बात करना चाहती है, तो वे यहां आकर रेलवे ट्रैक पर हमसे मिल सकते हैं.
गौरतलब है कि गुर्जर आंदोलन को लेकर बीजेपी भी लगातार राजस्थान की गहलोत सरकार पर हमलावर हो रही है. बीजेपी ने प्रदेश में कानून व्यवस्था की स्थिति को लेकर सवाल खड़ा किया है. बता दें कि आंदोलन शुरू करने से पहले गुर्जर नेता कर्नल किरोड़ी बैंसला ने मंत्री अशोक चांदना को वार्ता के लिए आमंत्रित किया था. लेकिन जाम उन्होंने जाम और तबियत खराब होने की बात कही. उन्होंने कहा की जाम के कारण वो वहां नहीं पहुंच पाये.
इससे पहले पीलूपुरा गांव में बड़ी संख्या में गुर्जरों ने रविवार को रेलवे ट्रैक को जाम कर दिया था. अधिकारियों ने बताया कि आंदोलनकारियों द्वारा पीलूपुरा से गुजरने वाली मुंबई-दिल्ली रेल पटरियों को क्षतिग्रस्त करने के बाद विरोध प्रदर्शन हिंसक हो गया.
उन्होंने बाद में मुंबई-दिल्ली पटरियों की फिश प्लेट को उखाड़ दिया और कुछ ने बयाना-हिंडौन मार्ग को जाम कर दिया. इसके कारण 40 मालगाड़ियां समेत 60 ट्रेनें प्रभावित हुई है. सात ट्रेनों के रूट को भी डायवर्ट किया जा चुका है. इतना ही नहीं आंदोलन के कारण 220 बसों के पहिये भी एक नवंबर से थम गये हैं.
वहीं भरतपुर के डीएम नाथमल देदाल ने कहा कि राज्य मंत्री अशोक चांदना ने पीलूपुरा में गुर्जर नेता किरोड़ीलाल बैंसला से मुलाकात की जहां दोनों के बीच सकारात्मक बाचचीत हुई. साथ ही हमने गुर्जर समुदाय के एक धड़े के साथ बैठक की थी, जो राज्य सरकार के आश्वासन से संतुष्ट थे.
पर गुर्जर नेता विजय बैंसला ने कहा कि उन्होंने किसी के साथ बात नहीं की थी. “युवाओं को रोजगार नहीं मिल रहा है. 25,000 नौकरियां अटकी हैं और कोई भी इसके बारे में बात नहीं कर रहा है, इसलिए उनमें गुस्सा है. बैंसला ने कहा कि जब तक हमारी मांगें पूरी नहीं होतीं, यह विरोध जारी रहेगा.
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Posted By: Pawan Singh