राजस्थान में बाजरे और कपास की MSP पर खरीद नहीं होने पर हाईकोर्ट ने केंद्र व राज्य सरकार को दिया नोटिस, मांगा जवाब
राजस्थान के किसानों के लिए राजस्थान हाईकोर्ट जोधपुर ने केंद्र और राज्य सरकार को नोटिस जारी कर जवाब-तलब किया है. मामला किसानों के बाजरे एवं कपास से जुड़ा है. प्रदेश के किसानों के बाजरे एवं कपास को न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) पर नहीं खरीदने के मामले में हाईकोर्ट ने यह नोटिस जारी की है.
राजस्थान के किसानों के लिए राजस्थान हाईकोर्ट जोधपुर ने केंद्र और राज्य सरकार को नोटिस जारी कर जवाब-तलब किया है. मामला किसानों के बाजरे एवं कपास से जुड़ा है. प्रदेश के किसानों के बाजरे एवं कपास को न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) पर नहीं खरीदने के मामले में हाईकोर्ट ने यह नोटिस जारी की है.
गौरतलब है कि किसान वेलफेयर सोसायटी पाली की ओर से जनहित याचिका दायर की गई थी. जिसमें किसानों के बाजरे एवं कपास (Millet and cotton) को न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) पर नहीं खरीदे जाने की बात कही गई थी. बुधवार को वरिष्ठ न्यायाधीश संगीत लोढ़ा और न्यायाधीश रामेश्वर व्यास की खंडपीठ ने इस याचिका पर नोटिस जारी किया है.
किसान वेलफेयर सोसायटी की ओर से अधिवक्ता ने हाईकोर्ट में पक्ष रखा और बताया कि गत 5 जून 2020 को केंद्र सरकार ने व उसके बाद 14 अक्टूबर 2020 को राज्य सरकार ने अपनी अधिसूचना जारी की. जिसमें 14 फसलों की एमएसपी घोषित की गई. लेकिन उसमें बाजरे और कपास को सम्मिलित नहीं किया.जबकि केंद्र सरकार ने दोनों फसलों का न्यूनतम समर्थन मूल्य (MSP) भी तय किया था.
इस बार राज्य में बाजरे की खेती अच्छी हुई है. लेकिन एमएसपी के अभाव में किसानों को इसे मंडी में औने-पौने दाम पर बेचा जा रहा है. हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को फसलों की खरीद संबंधी समस्त जानकारी और शपथ-पत्र अगली सुनवाई पर पेश करने के आदेश दिए हैं.
Posted By: Thakur Shaktilochan