देवघर: एसबीआई (स्टेट बैंक ऑफ इंडिया) के चेयरमैन दिनेश कुमार खारा व गोड्डा सांसद डॉ निशिकांत दुबे ने देवघर के कल्याणपुर में एसबीआई के प्रशासनिक भवन का भूमि पूजन व शिलान्यास किया. 50 करोड़ की लागत से आठ मंजिला यह प्रशासनिक भवन बनेगा. चेयरमैन ने कहा कि एसबीआई 100 वर्ष भी अधिक पुराना बैंक है. अपनी विभिन्न योजनाओं से देश के आर्थिक व शैक्षणिक विकास में एसबीआई अग्रणी है. देश में बेहतर शिक्षा की दिशा में एजुकेशन लोन सहित खुदरा व छोटे व्यवसायियों को कई प्रकार के लाने से जोड़कर उनका आर्थिक उत्थान किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि एसबीआई केंद्र सरकार के साथ मिलकर केंद्रीय योजनाओं पर फोकस करते हुए देश के विकास में अहम भूमिका निभा रहा है. सामाजिक कार्यों में भी एसबीआई आगे है. देश के शिक्षा सहित स्वास्थ्य सुविधा में भी एसबीआई अपना योगदान दे रहा है. एसबीआई हर भारतीय का बैंक है. एसबीआई के पूरे देश में 50 करोड़ से अधिक ग्राहक हैं. इन ग्राहकों का विश्वास बैंक ने बनाये रखा है.
सीडी रेशियो बढ़ाने पर विशेष नजर
एसबीआई के चेयरमैन दिनेश कुमार खारा ने कहा कि देश भर में सबसे अधिक एसबीआई का सीएसपी व ब्रांच है. सीएसपी के जरिये एसबीआई ग्रास रूट पर ग्राहकों को सुविधा दे रहा है. आने वाले दिनों में एसबीआई के ब्रांचों की संख्या और बढ़ाये जाने की योजना है. बैंक ग्राहकों को सुविधा देने के लिए अन्य भी कई योजनाएं लेकर आने वाली है. बैंक में जितना पैसा जमा किया जाता है, उसके अनुसार मार्केट में ऋण वितरण का सीडी रेशियो बढ़ाने के प्रश्न पर उन्होंने कहा सीडी रेशियो क्षेत्र के इकोनॉमी पर निर्भर है, जिस प्रकार इकोनॉमी होगी उस अनुसार सीडी रेशियो होगा. एसबीआई का सीडी रेशियो लगभग ठीक है. बावजूद इसके जिन क्षेत्रों में सीडी रेशियो कम है उसमें सुधार लाने पर फोकस किया जा रहा है.
दो वर्ष में बनकर तैयार होगा जोनल ऑफिस
देवघर मॉड्यूल में एसबीआई की कुल 190 शाखाएं हैं. शाखाओं को सीधे नियंत्रित करने वाले पांच क्षेत्रीय व्यवसाय कार्यालय अलग-अलग क्षेत्र में है. प्रशासनिक कार्यालय इन क्षेत्रीय कार्यालयों को नियंत्रित करता है. देवघर में यह प्रशासनिक भवन दो वर्ष में बनकर तैयार होगा. इसमें कई आधुनिक सुविधाएं होगी. इस मौके पर डीएमडी विनोद कुमार मिश्रा, सीजीएम शिव ओम दीक्षित, जीएम शैलेन्द्र सिंह तडागी, सत्यब्रत महापात्रा, प्रभाष बोस, डीजीएम विश्वरंजन आचार्या, आरएम रविशंकर चौधरी आदि थे.