जम्मू : कश्मीर में अब बिना हथियारवाले आतंकियों पर नकेल कसी जा रही है. सेना और सुरक्षा बलों ने ओवर ग्राउंड वर्करों और आतंकियों को मदद करनेवाले तत्वों की पहचान की कार्रवाई तेज कर दी है. इस मुहिम के तहत एक दर्जन से अधिक लोगों को गिरफ्तार किया गया है.
सुरक्षा एजेंसियों से जुड़े सूत्रों के मुताबिक, बिना हथियार वाले आतंकी ही हमले में आतंकियों को सहयोग करते हैं. ये लोग आतंकियों को पनाह देते हैं. साथ ही जवानों की तैनाती की सूचनाएं भी देते हैं. आतंकी संगठन इन बिना हथियार वाले आतंकियों की मदद से ही विस्फोटक सामग्री एक से दूसरे स्थान पर पहुंचाते हैं.
लश्कर-ए- तैयबा के लिए काम करनेवाले एक मददगार की गिरफ्तारी के बाद सुरक्षा एजेंसियों को कई महत्वपूर्ण जानकारियां मिलीं हैं. कश्मीर के पंपोर इलाके से गिरफ्तार हैरिस शरीफ राथर आतंकियों को रहने की जगह मुहैया कराने से लेकर लॉजिस्टिक्स और अन्य सहायता भी उपलब्ध कराता था. उसके कब्जे से आपत्तिजनक सामग्री मिली है.
आतंकी संगठनों की मदद करनेवाले बिना हथियारवाले आतंकियों की गिरफ्तारी से कई हमलों की गुत्थी भी सुलझ रही है. हंदवाड़ा इलाके से गिरफ्तार लोगों से जानकारी मिली कि ये लोग आतंकियों के लिए वाहनों का इंतजाम करते थे.
साथ ही मौके से तीन कारें और तीन मोटरसाइकिलें भी जब्त की गयी हैं. बताया जाता है कि बिना हथियारवाले आतंकियों की मदद के कारण ही विदेशी आतंकी सैफुल्ला ने कश्मीर में चार हमलों को अंजाम दिया था.