मेरठ : जम्मू-कश्मीर के अनंतनाग जिले के अच्छाबल इलाके में आतंकियों से मुठभेड़ के दौरान शहीद हुए 29 वर्षीय मेजर केतन शर्मा का अंतिम संस्कार गमगीन माहौल में हुआ.
इस दौरान केतन की मां और पत्नी बेहोश हो गईं. वहीं परिजनों का भी रो-रोकर बुरा हाल था. इससे पहले, शहीद मेजर का पार्थिव शरीर उनके घर पहुंचा. वहां से पार्थिव शरीर को अंतिम क्रिया के लिए सूरजकुंड घाट ले जाया गया.
मेजर केतन शर्मा के पिता ने शहीद बेटे को मुखाग्नि दी. वहीं शहीद मेजर की अंतिम यात्रा में ‘केतन शर्मा अमर रहें’ के नारों से सड़कें गूंज उठीं. इस दौरान सड़क पर शहीद की गाड़ी पर फूल चढ़ाते और नारे लगाते शहरवासियों की भारी भीड़ लगी रही.
शहीद मेजर की अंतिम यात्रा में प्रदेश के राज्यमंत्री सुरेश राणा, विधायक सत्यप्रकाश अग्रवाल, विधायक जितेंद्र सतवाई, डीएम अनिल ढींगरा और एसएसपी नितिन तिवारी समेत शहर के गणमान्य लोग शामिल हुए.
सेना के जवानों ने शहीद मेजर केतन शर्मा को सलामी दी. मेजर शर्मा कंकरखेड़ा मेरठ के श्रद्धापुरी फेस 2 निवासी थे. वह परिवार में इकलौते पुत्र थे. उनकी एक बहन है. मेजर की शादी 2012 में हुई थी.
उनकी पत्नी ईरा का रो-रोकर बुरा हाल है जबकि उनकी पांच वर्ष की बेटी को तो पता भी नहीं है कि उनके पिता अब इस दुनिया में नहीं रहे. शहीद मेजर के पिता रविंद्र कुमार शर्मा ने बताया कि 20 दिन पहले ही 27 मई को वह अवकाश से ड्यूटी पर लौटे थे.
वहीं शहीद केतन की मां का रो-रोकर बुरा हाल है. वे रोते हुए अफसरों से कह रही हैं कि मेरा शेर लौटा दो. सेना के अफसरों ने शहीद केतन शर्मा के परिवार के सदस्यों को सांत्वना दी.
केतन के परिजनों और दोस्तों के मुताबिक वह काफी खुशमिजाज थे. सेना में अफसर बनने का उन्हें जुनून था. पढ़ाई में भी वह हमेशा अव्वल रहे. नौवीं कक्षा तक उन्होंने कंकरखेड़ा स्थित अशोका एकेडमी में पढ़ाई की.
इसके बाद मेरठ पब्लिक स्कूल में 12वीं तक पढ़े. 12वीं के बाद एनडीए की परीक्षा दी. साक्षात्कार में सफल न होने के बाद भी अपने जुनून को शांत नहीं होने दिया.
इसके बाद सरूरपुर डिग्री कालेज से बीएससी की. कुछ दिन प्राइवेट नौकरी भी की. साथ ही सीडीएस की परीक्षा भी देते रहे. उन्होंने यह परीक्षा और इंटरव्यू पास कर लिया और आईएमए देहरादून में ट्रेनिंग पूरी की.
अच्छाबल के बिडूरा गांव में रविवार देर रात सुरक्षाबलों को दो से तीन आतंकियों के छिपे होने की सूचना मिली थी. सेना की 19 राष्ट्रीय राइफल्स (आरआर), सीआरपीएफ और पुलिस के स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप (एसओजी) के जवानों ने इलाके की घेराबंदी कर तलाशी अभियान चलाया था.
इस दौरान सोमवार तड़के आतंकियों के साथ मुठभेड़ हो गई. मुठभेड़ के दौरान सेना के मेजर केतन शर्मा शहीद हो गए.