लखनऊ:लखनऊ हत्याकांड में बड़ा खुलासा हुआ है. यूपी पुलिस ने रविवार को दावा किया कि यह गैंगरेप की वारदात नहीं है, बल्किइस मामले में एक ही शख्स ने वारदात को अंजाम दिया. पुलिस का यह भी कहना है कि पीड़िता के साथ रेप नहीं हुआ था. हालांकि, मृतका के परिवारवाले पुलिस की इस दलील से संतुष्ट नहीं हैं और उन्होंने इस मामले की सीबीआइ जांच कराने की मांग की है.
अपर पुलिस महानिदेशक सुतापा सान्याल ने संवाददाताओं को बताया कि मोहनलालगंज में महिला की हत्या के आरोपी की पहचान कर ली गयी है और उसे गिरफ्तार कर लिया गया है. यह गैंग रेप का मामला नहीं है. उन्होंने बताया कि मृतका के कॉल डिटेल की जांच में पता चला कि आरोपी रामसेवक यादव है जो गार्ड का काम करता है. सान्याल के मुताबिक, आरोपी ने पीड़िता को कॉल कर फ्लैट देखने के लिए बुलाया था. उसने पीड़िता से बलात्कार करने की कोशिश की, लेकिन नाकाम रहने पर पीड़िता पर हमला किया. चोटों की वजह से ज्यादा खून बहने से पीड़िता की मौत हो गयी. उन्होंने बताया कि चोरी की मोबाइल का वारदात में इस्तेमाल किया गया.
धोखे से बुलाया
सान्याल ने बताया कि रामसेवक पीड़िता के मकान के पास एक निर्माणाधीन अपार्टमेंट में गार्ड है. वह मोहनलालगंज थाना क्षेत्र के बलिसंहखेडा गांव के ही गढ़ी टोला का रहनेवाला है. पीड़िता इस इमारत में एक दो बार फ्लैट देखने गयी थी. रामसेवक ने राजीव बनकर महिला को फोन किया. इस मोबाइल फोन का सिम भी चोरी का था. 16 जुलाई की रात को करीब दस बजे राजीव नाम के किसी व्यक्ति ने महिला को फोन करके बुलाया. महिला ऑटो से मोहनलालगंज पहुंची. वहां मोटरसाइकिल पर राजीव ने हेलमेट लगा कर उसे रिसीव किया और उसे लेकर वह बलिसंह खेड़ा स्थित रोड के किनारे प्राइमरी स्कूल में पहुंचा. स्कूल में जब उसने अपना हेलमेट उतारा तो मोबाइल की रोशनी में उसका चेहरा देखकर महिला चौंक गयी.
महिला ने उसे धमकी देते हुए कहा, रामसेवक तुमने मुङो धोखा देकर बुलाया है. मैं तुम्हें कल बताती हूं. फिर रामसेवक ने उससे संबंध बनाना चाहा, तो वह धमकी देते हुए भागी. रामसेवक ने उसके कपड़े फाड़ दिए और जबरदस्ती करने की कोशिश की. नाकाम रहने पर उसने महिला के प्राइवेट पार्ट पर हमला किया और मौके से फरार हो गया. उन्होंने बताया कि पोस्टमार्टम और फोरेंसिक जांच रिपोर्ट से पता चला है कि अभियुक्त महिला के साथ संबंध बनाने में कामयाब नहीं हो पाया था और यह भी कि यह पूरा कांड अकेले रामसेवक ने ही किया.