उत्तर प्रदेश के छोटे दलों को साथ लाने में जुटे मोदी
।।राजेन्द्र कुमार।। लखनऊः देश की 272 संसदीय सीटों पर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) का परचम फहराने के लिए गुजरात के मुख्यमंत्री नरेन्द्र मोदी अब छोटे-छोटे राजनीतिक दलों को अपने साथ जोड़ने में जुट गए हैं. इसके तहत मोदी ने यूपी में नए साथियों की तलाश शुरू की है. मोदी के ऐसे पहले ही प्रयास में […]
।।राजेन्द्र कुमार।।
लखनऊः देश की 272 संसदीय सीटों पर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) का परचम फहराने के लिए गुजरात के मुख्यमंत्री नरेन्द्र मोदी अब छोटे-छोटे राजनीतिक दलों को अपने साथ जोड़ने में जुट गए हैं. इसके तहत मोदी ने यूपी में नए साथियों की तलाश शुरू की है. मोदी के ऐसे पहले ही प्रयास में यूपी के दलित समाज में सक्रिय इंडियन जस्टिस पार्टी के अध्यक्ष उदित राज भाजपा के खेमे में आ गए.
अब मोदी की कोशिश अपना दल तथा भारतीय किसान यूनियन (भाकियू) को भाजपा में लाने की है. भाजपा नेताओं का कहना है कि अगले माह तक नरेन्द्र मोदी की कोशिश रंग ले आएगी और यह दोनों दल तथा कुछ अन्य दलों के नेता भी भाजपा के नए साथियों में गिने जाएंगे. सूबे की राजनीति के मुताबिक सूबे में सक्रिय करीब आधा दर्जन छोटे दलों में अपना दल की पूर्वांचल और और भाकियू की पश्चिमी यूपी के कई जिलों में मजबूत पकड़ है.
अपना दल का साथ भाजपा को मिलने से इलाहाबाद, मिर्जापुर बनारस, गोरखपुर और बुंदेलखंड की बांदा कमिश्नरी में आने वाली सीटों पर भाजपा को मजबूती मिल सकती है. इन जिलों में पड़ने वाली कम से कम आठ संसदीय सीटों पर अपना दल के साथ जुड़ी कुर्मी बिरादरी ही जीत हार को तय करती है. वही पश्चिमी उत्तर प्रदेश में जाट डॉमिनेशन वाली 12 संसदीय सीटों पर भाकियू का फरमान चलता है.
कई वर्षों के चुनावी आंकड़े भी यह साबित करते हैं. मोदी द्वारा कराए गए एक सर्वे में भी अपना दल और भाकियू का साथ मिलना भाजपा के लिए लाभकारी बताया गया है. इस सर्वे के अनुसार अपना दल और भाकियू का सहयोग मिलने पर भाजपा को यूपी से 40 संसदीय सीटों पर आसानी से जीत हासिल होगी. भाजपा नेताओं के मुताबिक सर्वे के इस दावे को गंभीरता से लेते हुए मोदी ने अपना दल और भाकियू को अपने साथ जोड़ने के लिए अमित शाह को सक्रिय किया.
तो अमित शाह ने अपना दल और भाकियू के प्रमुख नेताओं से गुपचुप तरीके से मिलने की कोशिश शुरू की. सूत्रों के अनुसार अपना दल की महासचिव तथा रोहनिया (बनारस) से विधायक अनुप्रिया पटेल और अमित शाह की इस सिलसिले में एक मुलाकात दिल्ली में हो चुकी हैं. जिसमें अमित शाह ने अनुप्रिया के सामने अपना दल का भाजपा में विलय करने का प्रस्ताव रखा, जिसे अनुप्रिया ने ठुकराते हुए कहा कि भाजपा के साथ अपना दल का चुनावी गठबंधन हो सकता है.
अनुप्रिया के इस जवाब को अपने हक में मानते हुए अब मोदी अपना दल को साथ लेने की तैयारी में जुट गए हैं. इसी क्रम में भाजपा नेताओं ने यूपी में इलाहाबाद और मिर्जापुर संसदीय सीट गठबंधन के तहत अपना दल को देने का प्रस्ताव किया है. इसी प्रकार नरेन्द्र मोदी के निर्देश अमित शाह ने भाकियू नेताओं से मिलकर उन्हें भाजपा के साथ आने की न्यौता दिया है. भाकियू नेताओं से भी भाजपा ने पूछा कि वह किसे प्रत्याशी बनाना चाहते हैं. भाजपा नेताओं का दावा है कि अपना दल और भाकियू को भाजपा में लाने को लेकर चल रही उनकी कवायद जल्दी ही रंग लाएगी.