Gorakhpur: गोरखपुर में स्पेशल फोर्स तैयार, 10 आतंकियों पर भारी पड़ेगा एक सिपाही, नजर नहीं आएंगे उपद्रवी

गोरखपुर में 25 पुलिस कर्मियों की एक फोर्स तैयार की गई है. इन पुलिसकर्मियों को गोरखा ट्रेनिंग देकर लड़ने के लिए काबिल बनाया गया है. ट्रेनिंग के बाद इन पुलिसवालों की 5 टीम बनाई जाएंगी. प्रत्येक क्यूआरटी टीम में एक दारोगा और 4 सिपाही होंगे.

By Prabhat Khabar News Desk | July 2, 2022 3:07 PM

Gorakhpur News: नेपाल बॉर्डर से नजदीक होने की वजह से गोरखपुर को सुरक्षा के लिहाज से संवेदनशील माना जाता है, जिसको देखते हुए एसपी सिटी की पहल पर गोरखा रिक्रूट डिपों में उन्हें निहत्था और हथियार से लड़ने की ट्रेनिंग दी गई. अब उपद्रवी हो या आतंकी किसी भी घटना को नहीं दे सकेंगे अंजाम. दरअसल, गोरखपुर के गोरखनाथ मंदिर पर हमले की घटना के बाद ये कदम उठाया गया है. हालांकि, इसके बाद भी अगर कोई इस तरह की घटना को अंजाम देने की कोशिश करता है तो कमांडो या एटीएस बुलाने की जरूरत नहीं पड़ेगी क्योंकि गोरखपुर पुलिस की क्विक रिस्पांस टीम का एक सिपाही 10 आतंकियों पर भारी पड़ेगा.

गोरखपुर में किसी भी आपातकालीन स्थिति से निपटने के लिए 25 पुलिसकर्मियों की एक स्पेशल फोर्स तैयार की गई है. इसमें 5 दरोगा और 20 सिपाहियों की स्पेशल क्यूआर टीम तैयार की गई है. एक दरोगा और चार सिपाहियों को एक साथ एक स्थान पर तैनात किया जाएगा. इन पुलिसकर्मियों को आर्मी की गोरखा रेजीमेंट की ट्रेनिंग दिलाकर इन्हें हर तरह से लड़ने के लिए तैयार किया जा रहा है.

खास बात यह है कि स्पेशल ट्रेनिंग के लिए गोरखपुर के करीब 4000 पुलिसकर्मियों में से 25 स्पेशल पुलिस कर्मियों को चुना गया है. इन पुलिसकर्मियों की उम्र 25 से 30 वर्ष की है. गोरखपुर में वीआईपी लोगों का दौरा लगातार होता रहता है. विश्व प्रसिद्ध गोरखनाथ मंदिर, गीता प्रेस, कचहरी, एयरपोर्ट के सुरक्षा के लिए स्पेशल क्यूआर टीम का गठन किया गया है. किसी भी प्रकार के वीआईपी मूवमेंट होने पर यह टीम साथ रहेगी. गोरखा रेजीमेंट कूड़ाघाट गोरखपुर के बेस्ट सेंटर पर इन पुलिसकर्मियों की तीन दिवसीय ट्रेनिंग पूरी हो गई है.

गोरखा रेजीमेंट के सैनिकों द्वारा सुरक्षा के दृष्टिगत इन्हें विशेष प्रकार की ट्रेनिंग दी गई है. इस टीम को लीड कर रहे एसपी सिटी कृष्ण कुमार बिश्नोई ने बताया कि क्विक रिस्पांस टीम की जरूरत ज्यादा थी, जिसे देखते हुए पुलिस के 25 स्पेशल जवानों को छांटकर यह टीम तैयार की गई है. इस टीम में 5 दरोगा के साथ 20 सिपाही हैं. एक दरोगा के साथ 4 सिपाही एक पॉइंट पर लगाए जाएंगे. उन्होंने बताया कि स्पेशल टीम की ट्रेनिंग होते ही इनकी टीम बनाई जाएगी.

इस स्पेशल टीम की खासियत यह है कि यह टीम बिना असलहे के भी दुश्मनों को मात दे सकती है. इस टीम को ट्रेनिंग के दौरान चाकू के हमले से कैसे बचा जाए और पलटकर दुश्मन पर हमला कैसे किया जाए. बिना असलहे के दुश्मनों से कैसे लड़ा जाए. आंख पर पट्टी बांधकर या अंधेरा होने पर दुश्मनों से कैसे मुकाबला किया जाए. इसके अलावा खुकरी चलाने की भी ट्रेनिंग दी गई है.

रिपोर्टर- कुमार प्रदीप

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