Gyanvapi Case: वाराणसी में अधिवक्ता हरिशंकर जैन का कहना है, ‘मेरे नाम को लेकर भ्रम की स्थिति फैलाई जा रही है. हमें ज्ञानवापी केस देखना है. कौन क्या कह रहा है? इससे मतलब नहीं है, मेरा लक्ष्य भव्य और दिव्य मंदिर बनवाना है.’
जितेंद्र सिंह विशेन के बयान दिया था कि पुराने अधिवक्ताओं को इस केस से हटाया जा रहा है. इस पर हरिशंकर जैन ने कहा कि उनके जो 5 वादी हैं, उनमें से राखी सिंह हैं, उनको आपत्ति है तो उनकी तरफ से कोई और वकील आ जायेगा. इससे कोई विशेष फर्क नहीं पड़ता है केस वही रहेगा. अधिवक्ता हरिशंकर जैन ने कहा कि कोई भ्रम की स्थिति नही फैलेगी. किसी भी प्रकार के दुष्प्रचार से लोग बचकर रहे. केस उन्होंने तैयार किया है. मेहनत की है केस जैसे चल रहा है, वैसे ही चलता रहेगा. इसमें किसी प्रकार का कोई व्यवधान नहीं है. भ्रम कोई फैला रहे हैं तो इससे जनता को भ्रमित होने की जरूरत नहीं है.
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उन्होंने कहा, ‘मेरी तरफ से कोई समस्या नहीं है. मेरे पास 5 में से 4 वादी हमेशा सम्पर्क में रहते हैं. कल भी मिलने आये थे. मैं एक वकील हूं. मेरा काम है बहस करना. मैं इन सब पचड़ों में पड़ना नहीं चाहता. हिंदू पक्ष को इस मुद्दे में बहुत सब्र रखना चाहिए. अक्ल से काम लेना होगा. लक्ष्य एक है. हमारा लक्ष्य है कि भगवान भोलेनाथ का भव्य मंदिर बने उस लक्ष्य से हमें भटकने की जरूरत नहीं है. ईश्वर की कृपा थी तो भोले बाबा प्रकट हो गए. अब ईश्वर चाहेंगे तो मंदिर भी बन जायेगा. मैं एक साधन मात्र हूं. भगवान ने इस कार्य के लिए मुझे आदेशित किया है. मैं एक साधन मात्र हूं.’
रिपोर्ट : विपिन सिंह