विहिप के अंतरराष्ट्रीय अध्यक्ष आलोक कुमार ने कहा, राम मंदिर निर्माण पर अध्यादेश लाने की नहीं है मोदी सरकार की मंशा
इलाहाबाद : विश्व हिंदू परिषद (विहिप) के अंतरराष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष आलोक कुमार ने शनिवार को कहा कि विहिप को नहीं लगता कि मोदी सरकार अयोध्या में राम मंदिर के निर्माण को लेकर कोई अध्यादेश लायेगी. यहां मेला क्षेत्र के सेक्टर 14 में विश्व हिंदू परिषद के शिविर में संवाददाताओं से बातचीत में उन्होंने कहा कि […]
इलाहाबाद : विश्व हिंदू परिषद (विहिप) के अंतरराष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष आलोक कुमार ने शनिवार को कहा कि विहिप को नहीं लगता कि मोदी सरकार अयोध्या में राम मंदिर के निर्माण को लेकर कोई अध्यादेश लायेगी. यहां मेला क्षेत्र के सेक्टर 14 में विश्व हिंदू परिषद के शिविर में संवाददाताओं से बातचीत में उन्होंने कहा कि हमें ऐसा लगता है कि केंद्र सरकार राम मंदिर को लेकर कोई कानून नहीं लायेगी. हम आगामी 31 जनवरी और एक फरवरी को होने जा रही धर्म सभा में साधु संतों को यह बतायेंगे.
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राम मंदिर मामले की सुनवाई में कांग्रेस पार्टी की आेर से अड़ंगा डालने के आरोप के बारे में पूछे जाने पर आलोक कुमार ने कहा कि इसके कई सबूत हैं. पहला सबूत यह है कि कपिल सिब्बल ने अदालत से सुनवाई आम चुनावों के बाद करने की अपील की थी. दूसरा सबूत (तत्कालीन) मुख्य न्यायाधीश को उनके पद से हटाने का प्रयास करना. ये दो प्रत्यक्ष प्रमाण हैं. उन्होंने कहा कि मैं यह मानता हूं कि राम जन्मभूमि को लेकर जो कुछ भी हुआ, उसके बावजूद हिंदुत्व और राष्ट्रीयता के लिए मेरी राय में भाजपा से अधिक प्रतिबद्ध पार्टी कांग्रेस, सपा और बसपा नहीं हैं.
उन्होंने कहा कि आगामी धर्म सभा में विहिप साधु-संतों के सामने अपना विश्लेषण पेश करेगी और संत हमें बतायेंगे कि राम जन्मभूमि के लिए आगे क्या करना है. राष्ट्र के सामने बाकी जो मुद्दे हैं, उन पर क्या करना है. आलोक कुमार ने बताया कि इस धर्म सभा में जूना अखाड़े के पीठाधीश्वर स्वामी अवधेशानंद आैर गोविंद देव गिरि समेत सभी शीर्ष संत महात्मा शामिल होंगे. संत राम मंदिर को लेकर आगे की दिशा तय करेंगे.