108 एम्बुलेंस में गूंजी किलकारी, जच्चा-बच्चा दोनों सुरक्षित, सीएचसी बीकेटी में कराये गए भर्ती
इमरजेंसी मेडिकल टेक्नीशियन (ईएमटी) अभिषेक शुक्ला और पायलट योगेंद्र कुमार ने बताया कि उन्हें शनिवार को 108 के कॉल सेंटर से सूचना दी गई कि बीकेटी क्षेत्र के धैला गांव में रहने वालीं कांति देवी (23 वर्षीया) को प्रसव पीड़ा हो रही है.
Lucknow News : जीवनदायिनी 108 एम्बुलेंस सेवा शनिवार को एक बार फिर जच्चा-बच्चा की जीवनरक्षा करने में सफल रही. बीकेटी क्षेत्र के धैला गांव में रहने वाली एक महिला प्रसव पीड़ा से तड़प रही थी. उन्हें एम्बुलेंस सेवा की तत्काल जरूरत थी. इसकी सूचना मिलते ही 108 एम्बुलेंस के पायलट और ईएमटी उनके घर पहुंच गये. अस्पताल ले जाते समय बीच राह में ही ईएमटी को परिस्थिति देखते हुये महिला का प्रसव कराना पड़ा.
इस सम्बंध में जानकारी देते हुये इमरजेंसी मेडिकल टेक्नीशियन (ईएमटी) अभिषेक शुक्ला और पायलट योगेंद्र कुमार ने बताया कि उन्हें शनिवार को 108 के कॉल सेंटर से सूचना दी गई कि बीकेटी क्षेत्र के धैला गांव में रहने वालीं कांति देवी (23 वर्षीया) को प्रसव पीड़ा हो रही है और उन्हें जल्द से जल्द एम्बुलेंस सेवा की आवश्यकता है. उन्होंने बताया कि यह सूचना मिलते ही वे प्रसूता के घर पहुंच गये. वे महिला को लेकर अस्पताल की ओर रवाना हो गये. हालांकि, बीच राह में ही महिला की प्रसव पीड़ा बढ़ गई. ऐसे में ईएमटी ने एम्बुलेंस को रास्ते में रोककर महिला का सुरक्षित तरीके से प्रसव करवा दिया. जांच करने पर पता चला कि जच्चा-बच्चा दोनों ही पूरी तरह स्वस्थ हैं. इसके बाद ईएमटी ने जच्चा-बच्चा को सीएचसी बीकेटी में भर्ती करा दिया गया. जहां डॉक्टर ने उनकी जांच कर कहा कि दोनों ही स्वस्थ हैं.
इस संबंध में आगे बताते हुये ईएमटी कहते हैं कि इस दौरान उन्होंने एम्बुलेंस सेवा की जमकर सराहना की. वहीं, एम्बुलेंस सेवा प्रदाता संस्था के रीजनल मैनेजर इंद्रजीत सिंह ने बताया कि 102 सेवा पूरी तरह से निःशुल्क है और महिलाओं व दो साल तक के बच्चों को घर से अस्पताल व अस्पताल से वापस घर भी ले जाती है. आकस्मिक स्थिति के लिए एम्बुलेंस में डिलीवरी किट होती है और एम्बुलेंस स्टाफ इसके लिए प्रशिक्षित होते हैं.