Bareilly News: यूपी समेत उत्तर भारत में ठंड अपना कहर बरपा रही है. न्यूनतम तापमान लगातार नीचे आ रहा है. हर किसी की ठंड से कपकपी बंधी है, लेकिन इस कड़ाके की ठंड में भारत जोड़ो यात्रा में हर दिन कई किलोमीटर का सफर पूरा करने वाले कांग्रेस सांसद राहुल गांधी की टी-शर्ट की चर्चा है. सत्ताधारी भाजपा नेताओं से लेकर मीडिया तक में ठंड में राहुल गांधी की हाफ टी शर्ट मुद्दा बनी हुई है.
1996 कैडर के आईएएस एम. देवराज की शर्ट की भी काफी चर्चा होती थी. मूल रूप से तमिलनाडु निवासी एम.देवराज बरेली में मई 2007 से फरवरी 2008 तक डीएम रहे थे. उनके कार्यकाल के दौरान दिसंबर से जनवरी तक काफी ठंड थी. मगर, यूपी के ईमानदार आईएएस अफसरों की गिनती में शमिल एम.देवराज हाफ या फुल शर्ट में ही बैठकों से लेकर फील्ड में नजर आते थे. उन्होंने कभी जैकेट या शूटर नहीं पहना. इसकी चर्चा बरेली से लेकर लखनऊ तक होती थी.
एम.देवराज वर्तमान में उत्तर प्रदेश पावर कॉर्पोरेशन में एमडी हैं. वह इससे एशियन डेवलपमेंट बैंक (एसीबी) में सलाहकार भी रह चुके हैं. उनकी पोस्टिंग फिलीपींस के मनीला में थी. कुछ वर्ष पूर्व ही यूपी कैडर में फिर वापसी हुई है. हालांकि वह बदायूं, झांसी, उन्नाव में डीएम रहने के साथ ही यूपी में प्रमुख पदों पर रह चुके हैं. एम.देवराज ने जेनेटिक्स में एमएससी की है और वह इंटरनेशनल प्रॉपर्टी लॉ में पोस्ट ग्रेजुएट हैं. मगर यूपी में कड़ाके की ठंड में शर्ट पहनने वाले आईएएस एम.देवराज से अधिक राहुल गांधी की टी शर्ट की चर्चा अधिक है.
कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने 07 सितंबर 2022 को कन्याकुमारी से भारत जोड़ो यात्रा का आगाज किया था. अब तक भारत जोड़ो यात्रा 9 राज्यों का सफर तय कर चुकी है. इनमें तमिलनाडु, केरल, कर्नाटक, तेलंगाना, आंध्र प्रदेश, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, राजस्थान और हरियाणा शामिल हैं. इस दौरान इन राज्यों के 46 जिलों को कवर किया गया है. अभी भी राहुल गांधी को 570 किमी का सफर तय करना है. राहुल इस दौरान तीन राज्यों उत्तर प्रदेश, पंजाब और जम्मू-कश्मीर से गुजरेंगे. इस तरह कुल 150 दिन में भारत जोड़ो यात्रा 12 राज्यों में 3 हजार 570 किमी की दूरी पैदल तय कर लेगी.
दिल्ली में मीडिया कर्मियों ने टी शर्ट को लेकर ठंड न लगने को लेकर सवाल पूछा था.इस पर राहुल गांधी ने कहा कि टी शर्ट ही चल रही है, जब टी-शर्ट नहीं काम करेगी, तब देखेंगे.
बरेली के प्रसिद्ध फिजिशियन डॉ.नदीम कहते हैं कि हमें सबसे पहले ठंड त्वचा (स्किन) पर महसूस होती है.इसकी वजह से हमारे रोएं भी खड़े हो जाते हैं. कई बार उंगलियां भी सुन्न हो जाती हैं. तापमान के घटने बढ़ने का एहसास सबसे पहले हमारी स्किन को होता है. हमारी स्किन के ठीक नीचे मौजूद थर्मो-रिसेप्टर नर्व्स दिमाग को तरंगों के रूप में ठंड लगने का संदेश भेजती हैं. लोगों में इसका स्तर और इसकी तीव्रता अलग-अलग हो सकती है. स्किन से निकलने वाली तरंगें दिमाग के हाइपोथैलेमस में जाती हैं.
हाइपोथैलेमस से शरीर में आंतरिक तापमान और पर्यावरण का संतुलन बनाने में सहायता करता है. इस संतुलन को बनाने की प्रक्रिया के कारण ही हमारे रौंगटे खड़े हो जाते हैं और मांसपेशियां भी सिकुड़ने लगती है.
हमारा शरीर तापमान का ज्यादा कम होना बर्दाश्त नहीं कर पाता है. अगर, तापमान ज्यादा कम हो जाता है, तो शरीर के कई अंग काम करना बंद कर देते हैं. कभी-कभी मल्टी ऑर्गन फेलियर होने की वजह से इंसान की मौत भी हो जाती है. ज्यादा ठंड लगने को हाइपोथर्मिया कहा जाता है.इसकी वजह से जान भी जा सकती है.
हमारे शरीर के अंग धीमी गति से काम कर रहे होते हैं, तो इनसे ज्यादा मेटाबॉलिक हीट पैदा होती है. जिस वजह से शरीर में अचानक कंपकंपी लगती है. कंपकंपी आने का मतलब है कि शरीर बाहर के तापमान की तुलना में अंदर के तापमान को संतुलित कर रहा है.
Also Read: Bareilly Weather: बरेली में शीतलहर से बढ़ी गलन, न्यूनतम तापमान में गिरावट, ये हैं दुनिया के सबसे ठंडे शहरअगर आपका वजन आपकी लंबाई के अनुपात में ज्यादा कम है, तो भी ठंड अधिक लगती है. थायरॉयड के बिगड़ने, शरीर में आयरन की कमी होने पर भी ज्यादा ठंड का एहसास हो सकता है. रक्त संचार कम होने के कारण खून शरीर के सभी अंगों तक सही मात्रा में नही पहुंच पाता है, ऐसी स्तिथि में भी आपको ज्यादा ठंड का अनुभव हो सकता है. नींद का ठीक से पूरा न होना भी ठंड लगने का एक कारण बन सकता है. डिहाइड्रेशन के शिकार होने पर भी आपको ठंड अधिक लग सकती है. शरीर में विटामिन बी की कमी होने पर भी ठंड अधिक लगती है.
रिपोर्ट-मुहम्मद साजिद, बरेली