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UP Chunav: SP के विजय पथ पर BSP ने 30 सीटों को बनाया ‘स्पीड ब्रेकर’, आंकड़े बयां कर रहे नुकसान की दास्तां

यूपी विधानसभा चुनाव 2022 में सपा के विजय रथ को रोकने में बसपा ने भी बड़ा रोल निभाया है. बीएसपी सुप्रीमो मायावती की प्लानिंग करीब 30 सीटों पर सपा को नुकसान पहुंचाने में कामयाब रही है. आंकड़ों के मुताबिक, बसपा का सोशल इंजीनियरिंग का फॉर्मूला सपा के (एम+वाई) फैक्टर को नुकसान पहुंचाने में कामयाब रहा है.

By Prabhat Khabar News Desk | March 21, 2022 9:43 AM

UP Chunav Result 2022: उत्तर प्रदेश के विधानसभा चुनाव 2022 में समाजवादी पार्टी मुख्य विपक्षी पार्टी बनकर उभरी है. सपा को इस चुनाव से काफी उम्मीदें थीं. चुनाव के परिणामों को गौर करने पर देखा जा रहा है कि सपा के विजय रथ को रोकने में बसपा ने भी बड़ा रोल निभाया है. बीएसपी सुप्रीमो मायावती की प्लानिंग करीब 30 सीटों पर सपा को नुकसान पहुंचाने में कामयाब रही है. आंकड़ों के मुताबिक, बसपा का सोशल इंजीनियरिंग का फॉर्मूला सपा के (एम+वाई) फैक्टर को नुकसान पहुंचाने में कामयाब रहा है.

कैसी रही दोनों सपा-बसपा की जंग?

चुनाव के बाद आए परिणामों के मुताबिक, बीएसपी ने विधानसभा चुनाव में प्रदेश की 30 सीटों पर समाजवादी पार्टी के ‘एमवाई’ यानी मुस्लिम यादव गठजोड़ को कमजोर कर दिया. बसपा के मुस्लिम उम्मीदवारों ने इन सीटों पर वोटों का बंटवारा कर समाजवादी पार्टी के उम्मीदवारों को सीधे तौर पर नुकसान पहुंचाने काम किया. नतीजे बयां करते हैं कि बसपा के मुस्लिम उम्मीदवारों को मिले वोट अगर सपा के हिस्से में आते तो उसके लिए जीत की राह आसान हो जाती. मगर बसपा की चाल से सपा की राह ऐसी बाधित हुई कि वह लक्ष्य से दूर होकर सत्ता में आने के बजाय विपक्ष में जा पहुंची.

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89 सीट पर मायावती ने लगाया था दांव

यूपी की राजनीति के जानकारों का 2022 के विधानसभा चुनाव को लेकर अलग ही मत था. शुरुआत से ही इस बाता को माना जा रहा था कि मुस्लिम वोट बड़ी संख्या में सपा को जाएगा. बसपा सुप्रीमो मायावती ने सपा की इस गणित को तोड़ने के लिए प्रदेश की 89 सीटों पर मुस्लिम उम्मीदवार उतारे. उनकी रणनीति थी कि जहां सपा मुस्लिम उम्मीदवार नहीं उतारेगी वहां दलित और मुस्लिम मतों के एक साथ आने पर सीधे तौर पर उसे फायदा होगा. मगर बसपा को इसका कोई खास फायदा नहीं हुआ. उल्टा सपा को नुकसान जरूर हो गया. सपा को यह नुकसान करीब 30 सीट पर हुआ है. 28 सीट पर तो बड़ा ही रोचक मुकाबला दर्ज किया गया है.

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इन सीट पर रुका सपा का विजय रथ

अलीगंज, अलीगढ़, बहराइच, बख्शी का तालाब, बासगांव, बढ़ापुर, बिसवां, छिबरामऊ, ददरौला, फिरोजाबाद, गंगोह, जौनपुर, खलीलाबाद, कोल, लोनी, महमूदाबाद, मेरठ दक्षिण, मेंहदावल, मोहम्मदी, मुरादबाद नगर, मुगलसराय, नकुड़, नानपारा, नवाबगंज, पथरदेवा, पीलीभीत, रायबरेली, रुदौली, सीतापुर व श्रीनगर सीटें हैं, जहां पर सपा को नुकसान हुआ है. अब यदि सपा को इतनी सीटों पर बसपा ने यदि नुकसान नहीं पहुंचाया होता तो वह 125 की जगह 200 से अधिक सीटें लाने में कामयाब हो जाती.

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