Gorakhpur News: गोरखपुर अभी डेंगू से उबर नहीं पा रहा है तो वही डायरिया का प्रकोप भी शुरू हो गया है. शहर में रविवार को डायरिया के 32 मरीज अपना इलाज कराने अस्पताल पहुंचे हैं जिसमें से 5 मरीज को भर्ती करना पड़ा है. वहीं दो मरीजों की हालत नाजुक देखते हुए उन्हें जिला अस्पताल रेफर किया गया है. बाकी मरीजों का प्राथमिक इलाज करने के बाद उन्हें घर भेज दिया गया है.
इतनी बड़ी संख्या में मरीजों के आने पर गोरखपुर मुख्य चिकित्सा अधिकारी डॉ आशुतोष कुमार दुबे खजनी क्षेत्र के उनवल पहुंचे और वहां का जायजा लिया. उनवल छेत्र में डायरिया का प्रकोप थमता नजर नहीं आ रहा है. मौके पर पहुंचे सीएमओ डॉ आशुतोष कुमार दुबे ने बताया कि 2 दिन पहले ही हम लोगों को सूचना मिली थी. जिसके बाद हमने चिकित्सा अधीक्षक को निर्देशित किया था और उसके बाद हमने खुद स्थलीय निरीक्षण किया है.
सीएमओ ने आगे बताया कि जिलाधिकारी ने यहां की रिपोर्ट हमसे मांगी थी जो रिपोर्ट मैंने दे दी है. डीएम ने संबंधित विभाग जैसे जलकल विभाग और नगर पंचायत को बताया था . जो शिकायतें यहां मिली थी वह मैं देख कर के आया हूं. दो-तीन जगहों पर दिक्कतें दिखी हैं उसको ठीक कराया जा रहा है कुछ जगहों पर लोगों द्वारा बताया गया कि यहां मृत मछली बेची जाती हैं जिसकी सूचना यहां के थाने को दी गई है उम्मीद है कि जल्द ही यहां का मामला नियंत्रित हो जाएगा.
बांसगांव अधीक्षक ने बताया कि जो 30 से 32 मामले आए हैं उनके उपचार के लिए यहां कैंप लगाया गया है, जो पीड़ित है उसको दवा मिल जाए. उसका सही समय पर सही उपचार हो जाए. इस सवाल पर कि कई लोग जिला अस्पताल में रेफर किए गए हैं. उन्होंने कहा कि 10 से 12 लोग जिला अस्पताल गए हैं जिनका इलाज चल रहा है.
इस तरह के मामले क्यों इस गांव में हो रहा है इस सवाल का जवाब देते हुए अधीक्षक ने बताया कि जो लोग यहां की मछली खा रहे हैं उसी से उन लोग को हो रहा है. कुछ लोगों को कोल्ड डायरिया भी होता है कुछ लोगों को खानपान की वजह से होता है. दूषित पानी दूषित भोजन करने की वजह से और यहां पर लोगों को मछली खाने से मना किया जा रहा है. साथ ही लोगों को पानी उबालकर पीने के लिए बोला जा रहा है. जब तक इस बीमारी पर रोकथाम नहीं हो जाता है तब तक यह काम चलता रहेगा.
रिपोर्ट– कुमार प्रदीप, गोरखपुर