Electricity Rate: यूपी में बिजली उपभोक्ताओं को राहत, नियामक आयोग ने रेट बढ़ाने से किया इनकार
यूपी राज्य विद्युत नियामक आयोग ने बिजली की दर बढ़ाने से इनकार कर दिया है. आयोग ने अधिकतम स्लैब सीमा को कम करके जनता को राहत पहुंचाने की कोशिश की है. इस फैसले से 2022-23 में उपभोक्ताओं राहत मिली है. पूरी गर्मी यूपी के लोगों ने बिजली की बंपर बिजली कटौती झेली है. यह खबर उन्हें कुछ राहत पहुंचायेगी.
Lucknow: हर दिन बिजली कटौती झेल रही यूपी की जनता को गर्मी से थोड़ी राहत मिलेगी. उत्तर प्रदेश विद्युत नियामक आयोग ने बिजली दरों में कोई वृद्धि नहीं की है. आयोग ने यूपी में वर्ष 2022-23 के बिजली के नए टैरिफ की घोषणा कर दी है. अधिकतम स्लैब सीमा को कम करके जनता को राहत पहुंचाने की कोशिश की है.
यूपी के शहरी विद्युत उपभोक्ताओं के लिए 0 से 100 यूनिट तक 5.50 रुपये प्रति यूनिट, 101 से 150 यूनिट तक प्रति यूनिट 5.50 रुपये प्रति यूनिट, 151 से 300 यूनिट तक प्रति यूनिट 6.00 रुपये और 300 यूनिट के ऊपर 6.50 रुपये प्रति यूनिट के हिसाब से दरें निर्धारित की गई हैं. शहरी क्षेत्र में घरेलू बीपीएल परिवारों को 100 यूनिट तक प्रति यूनिट 3.00 रुपये तय किया गया है.
ग्रामीण क्षेत्र के घरेलू विद्युत उपभोक्ताओं के लिए 0 से 100 यूनिट तक 3.35 रुपये प्रति यूनिट, 101-150 यूनिट तक 3.85 रुपये प्रति यूनिट, 151 से 300 यूनिट तक 5.00 रुपये प्रति यूनिट, 300 यूनिट से ऊपर होने पर 5.50 रुपये प्रति यूनिट भुगतान करना होगा. ग्रामीण घरेलू बीपीएल परिवारों को 100 यूनिट तक 3 रुपये के हिसाब से भुगतान करना होगा.
उत्तर प्रदेश राज्य विद्युत उपभोक्ता परिषद के अध्यक्ष व राज्य सलाहकार समिति के सदस्य अवधेश कुमार वर्मा का कहना है कि नियामक आयोग ने उपभोक्ता परिषद की ज्यादातर मांगों को मान लिया है. नोएडा पावर कंपनी के क्षेत्र के विद्युत उपभोक्ताओं की बिजली दरों में 10 प्रतिशत की कमी की गई है. इसी तरह नियामक आयोग में उपभोक्ताओं के निकल रहे 22045 करोड़ रुपये पर ट्रिब्यूनल में मुकदमा दाखिल करने का शपथ पत्र दिया गया होता तो बिजली दरों में और ज्यादा कमी हो सकती थी्.