12 ज्योतिर्लिंगों में प्रमुख बाबा विश्वनाथ की कमाई में इजाफा, विश्वनाथ कॉरिडोर बनने के बाद उमड़ रहे भक्त
श्री काशी विश्वनाथ धाम ने इस बार के सावन में अपने सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं. पूरे सावन माह में जहां एक करोड़ से अधिक श्रद्धालुओं ने धाम में दर्शन पूजन किया, वहीं 5 करोड़ से अधिक का चढ़ावा भी मंदिर में चढ़ाया गया है. इससे मंदिर प्रशासन के साथ ही अर्चक व अन्य कर्मचारी भी उत्साहित दिख रहे हैं.
Varanasi News: धर्म की नगरी काशी का पर्यटन उद्योग भी पहले से काफी बेहतर हो गया है. इसमें मुख्य भूमिका निभाई है ‘विश्वनाथ कॉरिडोर या विश्वनाथ धाम’ ने. विश्वनाथ कॉरिडोर के उद्घाटन के बाद से विश्वनाथ मंदिर में चढ़ावे से होने वाली आमदनी दोगुनी हो चुकी है. आने वाले श्रद्धालुओं की संख्या में भी काफी इजाफा हुआ है. 12 ज्योतिर्लिंगों में प्रमुख बाबा विश्वनाथ की कमाई में इजाफा हो गया है.
कर्मचारी भी उत्साहित दिख रहे
श्री काशी विश्वनाथ धाम ने इस बार के सावन में अपने सारे रिकॉर्ड तोड़ दिए हैं. पूरे सावन माह में जहां एक करोड़ से अधिक श्रद्धालुओं ने धाम में दर्शन पूजन किया, वहीं 5 करोड़ से अधिक का चढ़ावा भी मंदिर में चढ़ाया गया है. इससे मंदिर प्रशासन के साथ ही अर्चक व अन्य कर्मचारी भी उत्साहित दिख रहे हैं.
12 ज्योतिर्लिंगों में प्रमुख बाबा विश्वनाथ
धर्म की नगरी काशी का पर्यटन उद्योग भी पहले से काफी बेहतर हो गया है. इसमें मुख्य भूमिका निभाई है ‘विश्वनाथ कॉरिडोर या विश्वनाथ धाम’ ने. विश्वनाथ कॉरिडोर के उद्घाटन के बाद से विश्वनाथ मंदिर में चढ़ावे से होने वाली आमदनी दोगुनी हो चुकी है. आने वाले श्रद्धालुओं की संख्या में भी काफी इजाफा हुआ है. 12 ज्योतिर्लिंगों में प्रमुख बाबा विश्वनाथ की कमाई में इजाफा हो गया है.
विभिन्न साधनों से आया दान
मुख्य कार्यपालक ने बताया की सावन माह में प्रतिदिन ढाई से तीन लाख श्रद्धालु मंदिर में बाबा का जलाभिषेक करने पहुंचे. सावन के प्रत्येक सोमवार को श्रद्धालुओं का आंकड़ा 5 लाख से ज्यादा रहा. पूरे सावन माह का अगर आंकड़ा देखा जाए तो एक करोड़ श्रद्धालुओं ने बाबा दरबार में हाजिरी लगाई है. उन्होंने बताया कि चढ़ावे की बात की जाए तो विभिन्न साधनों जैसे मनीऑर्डर, दानपात्र, ऑनलाइन और ऑफलाइन इन सबको मिलाकर लगभग 5 करोड़ का चढ़ावा मंदिर में आया है.
मंदिर प्रशासन ने 2 करोड़ तक किया खर्च
इस बार सोने-चांदी की बात की जाए तो लगभग 40 किलो से ज्यादा चांदी का चढ़ावा मंदिर में आया है. एक करोड़ से अधिक का सोना भी बाबा के दरबार में श्रद्धालुओं द्वारा दान दिया गया है. यही नहीं इस बार सावन में श्रद्धालुओं की सुविधा का भी विशेष ध्यान रखा गया था. टेंट, मैटिंग, पेयजल, ग्रिल, बिजली कूलर सहित अन्य संसाधनों की भी पर्याप्त व्यवस्था की गई थी ताकि किसी भी श्रद्धालु को किसी प्रकार की असुविधा न हो. इस व्यवस्था को भी करने में मंदिर प्रशासन ने लगभग डेढ़ से 2 करोड़ रुपए खर्च किया है.
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रिपोर्ट : विपिन सिंह