Kanpur Violence: मास्टमाइंड पर लगा NSA, क्राउड फंडिंग करने वाले आरोपियों पर लगा गैंगस्टर
डीएम विशाख जी अय्यर ने प्रेस कांफ्रेंस कर बताया कि हयात जफर पर गुरुवार को NSA की कार्रवाई की गई है. हयात जफर की सेशन कोर्ट से जमानत याचिका खारिज हो गई थी. हाइकोर्ट में जमानत याचिका लगाते ही NSA की कार्रवाई की गई है.
Kanpur News: कानपुर में बीते 3 जून को जुमे की नमाज के बाद हुई हिंसा में कानपुर प्रशासन ने आरोपियों पर बड़ी कार्रवाई की है. हिंसा के मास्टरमाइंड हयात जफर हाशमी के खिलाफ NSA (राष्ट्रीय सुरक्षा कानून) लगाया गया है. वहीं, अन्य आरोपियों हाजी वसी, अकील खिचड़ी, शफीक और मुख्तार बाबा पर गैंगस्टर एक्ट की धारा पर कार्रवाई हुई है.
हाइकोर्ट में जमानत याचिका लगाते हुई कार्रवाई
डीएम विशाख जी अय्यर ने प्रेस कांफ्रेंस कर बताया कि हयात जफर पर गुरुवार को NSA की कार्रवाई की गई है. हयात जफर की सेशन कोर्ट से जमानत याचिका खारिज हो गई थी. हाइकोर्ट में जमानत याचिका लगाते ही NSA की कार्रवाई की गई है. पुलिस ने रासुका लगाने को लेकर कई अहम आधार दिए हैं. पुलिस की रिपोर्ट के मुताबिक हयात जफर हाशमी ने बड़ी वारदात को अंजाम दिया. इससे समुदायों में नफरत की भावना फैली थी. समाज में लोगों के बीच उसको लेकर डर बना हुआ है. अगर वह जेल से छूटा तो अशांति फैल सकती है. बवाल हो सकता है. इसी आधार पर उसके खिलाफ NSA लगाया गया है.
तीन आरोपियों पर गैंगस्टर
पुलिस कमिश्नर विजय सिंह मीणा ने मीडिया से बात चीत करते हुए बताया कि बिल्डर हाजी वसी और मुख्तार बाबा ने हिंसा के लिए लाखों रुपए मुख्य आरोपी समेत अन्य को फाइनेंस किया था. हिंसा में पर्दे के पीछे रहकर दोनों कानपुर को हिंसा की आग में झोंकने के लिए साजिश रची थी.इसके साथ ही सफीक और हिस्ट्रीशीटर अकील की हिंसा में अहम भूमिका थी. इसके चलते इन चारों आरोपियों के खिलाफ गैंगस्टर की कार्रवाई की गई है. कानपुर में 3 जून, 2022 को उस समय हिसा हुई जब राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री के साथ सीएम राज्यपाल का जनपद में कार्यक्रम था. नई सड़क पर जुमे की नमाज के बाद भीड़ ने चंद्रेश्वर हाता पर हमला बोल दिया था. पथराव, फायरिंग और हमले में लगभग 12 लोग घायल हुए थे. पुलिस अब तक मामले में 62 आरोपियों को जेल भेज चुकी है.