Lakhimpur Dhaurhara Assembly: जानें दलित और ब्राह्मण बहुल क्षेत्र में 2022 में किस पार्टी को मिलेगी सीट?

Lakhimpur Dhaurhara Assembly Chunav धौरहरा विधानसभा क्षेत्र में पहला चुनाव 1957 में था. साल 2008 में संसदीय और विधानसभा निर्वाचन क्षेत्रों का परिसीमन आदेश पारित होने के बाद, निर्वाचन क्षेत्र को पहचान संख्या 141 सौंपी गई थी.

By Prabhat Khabar News Desk | February 21, 2022 6:45 PM

Lakhimpur Dhaurhara Assembly Chunav 2022: धौरहरा विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र उत्तर प्रदेश विधान सभा, भारत के 403 निर्वाचन क्षेत्रों में से एक है. यह लखीमपुर जिले का एक हिस्सा है और धौरहरा (लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र) के पांच विधानसभा क्षेत्रों में से एक है. इस विधानसभा क्षेत्र में पहला चुनाव 1957 में था. साल 2008 में संसदीय और विधानसभा निर्वाचन क्षेत्रों का परिसीमन आदेश पारित होने के बाद, निर्वाचन क्षेत्र को पहचान संख्या 141 सौंपी गई थी.

कौन हैं वर्तमान विधायक?

बता दें कि लखीमपुर के धौरहरा सीट पर भाजपा 2017 के पहले यहां से सिर्फ एक बार चुनाव जीत पाई थी. बल्कि इस सीट से सपा और बसपा के टिकट पर दो-दो बार प्रत्याशी चुनाव जीतकर विधानसभा पहुंचे. यहां सबसे ज्यादा 5 बार निर्दल प्रत्याशी और चार बार कांग्रेस के प्रत्याशियों ने जीत हासिल की थी. साल 2017 में भाजपा के बाला प्रसाद अवस्थी ने सपा के यशपाल सिंह चौधरी को मात्र 3353 वोट के अंतर से हराया था.

क्या कहते हैं समीकरण?

इस सीट पर सपा और बसपा दोनों भाजपा के लिए बड़ी चुनौती बनेंगी. इसका सबसे बड़ा कारण दलित और ब्राह्मण बाहुल्य क्षेत्र होने की वजह से है. पिछड़ा वर्ग भी निर्णायक भुमिका में रहता है. 1991 के चुनाव में चली राम लहर में पहली बार भाजपा का खाता इस सीट पर खुला और बाला प्रसाद विधायक बने.

साल 1993 में यह सीट सपा के यशपाल चौधरी विधानसभा पहुंचे. साल 1996 में कांग्रेस के सरस्वती प्रसाद सिंह ने जीत दर्ज की. 2002 में सपा के यशपाल चौधरी फिर विधायक बने. वहीं, 2007 में बसपा के बाला प्रसाद विधायक चुने गए. वर्ष 2012 में भी बसपा के शमशेर बहादुर विधायक बने. साल 2017 में मोदी लहर में बाला प्रसाद ने भाजपा का दामन थाम लिया था. फिर वे विधायक बने.

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