Lucknow News: राजधानी लखनऊ के लेवाना होटल पर आज एलडीए की कार्रवाई से पहले कोर्ट ने रोक लगा दी है. इलाहाबाद हाई कोर्ट की लखनऊ बेंच ने 15 दिसंबर तक होटल के ध्वस्तीकरण पर रोक लगा दी है. एलडीए ने 9 दिसंबर तक का लेवाना होटल के मालिकों को वक्त दिया था. आज एलडीए की नोटिस का टाइम खत्म हो रहा है, लेकिन इससे पहले कोर्ट ने ध्वस्तीकरण की कार्रवाई पर लोग लगा दी है.
राजधानी लखनऊ के होटल लेवाना (Hotel Levana Fire) अग्निकांड मामले में एलडीए ने बुलडोजर चलाने का अल्टीमेटम दिया था. अवैध रूप से बनाए गये होटल में चार लोगों की मौत के मामले में जिम्मेदार मानते हुए एलडीए ने प्रबंधक को नोटिस जारी किया. इस नोटिस में 9 दिसंबर तक खुद ही होटल तोड़ने का आदेश दिया है. इसके साथ ही एलडीए ने कहा कि, निर्देश का पालन न करने की स्थिति में एलडीए खुद ध्वस्तीकरण की कार्रवाई करेगा.
आदेश में कहा कि, न्यायालय की सुनवाई में होटल प्रबंधक को पूरा मौका दिया गया, मगर निर्माण के वैध होने के कोई साक्ष्य पेश नहीं कर पाए. जोन छह के विहित प्राधिकारी राम शंकर ने नोटिस में कहा कि, इस आदेश के पारित होने के बाद 16 दिन में अवैध निर्माण हटाने का निर्देश दिया जाता है. निर्देश का पालन न होने की स्थिति में विकास प्राधिकरण स्वयं अवैध निर्माण को ध्वस्त कर देगा और प्रबंधक से खर्च वसूल करेगा.
पुलिस ने होटल के मालिकों और प्रबंधक के खिलाफ दर्ज प्राथमिकी में कहा कि, होटल प्रबंधक नेअप्रिय स्थिति में लोगों के बाहर निकलने की उचित व्यवस्था नहीं की थी. उत्तर प्रदेश सरकार ने इस घटना की जांच के लिए लखनऊ पुलिस आयुक्त एसबी शिराडकर और आयुक्त (लखनऊ मंडल) रोशन जैकब की एक समिति गठित की. पैनल की रिपोर्ट के आधार पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने चार अलग-अलग विभागों के 15 अधिकारियों को निलंबित करने और चार सेवानिवृत्त अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई करने का आदेश दिया.