Terrorists Arrest in UP: गैराज की आड़ में पाल रहे थे विध्वंसक मंसूबे, 8 साल पहले सऊदी में पकड़ी आतंक की राह
Terrorists arrest in Lucknow : एटीएस ने काकोरी क्षेत्र के दुबग्गा से जिन दो अलकायदा आतंकियों को गिरफ्तार किया है, उन्होंने सऊदी में रहते हुए आतंक की राह पकड़ी थी. भारत लौटे तो आठ साल से उनका गैराज उनके विध्वंसक मंसूबों की आड़ बना हुआ था. वह आतंकी गतिविधियां चलाते रहे लेकिन पिछले दिनों जम्मू-कश्मीर में विस्फोट से उनके संबंध ने एटीएस को उनका सुराग दे दिया. फिर वे दबोच लिए गए. up terrorists arrested, UP Terror module, Minhaz Ahmed Lucknow, lucknow terrorists arrested, Al Qaeda terrorists arrested
Terrorists arrest in Lucknow : एटीएस ने काकोरी क्षेत्र के दुबग्गा से जिन दो अलकायदा आतंकियों को गिरफ्तार किया है, उन्होंने सऊदी में रहते हुए आतंक की राह पकड़ी थी. भारत लौटे तो आठ साल से उनका गैराज उनके विध्वंसक मंसूबों की आड़ बना हुआ था. वह आतंकी गतिविधियां चलाते रहे लेकिन पिछले दिनों जम्मू-कश्मीर में विस्फोट से उनके संबंध ने एटीएस को उनका सुराग दे दिया. फिर वे दबोच लिए गए.
अलकायदा समर्थित संगठन अंसार गजवातुल हिंद से जुड़े मिनहाज और उसका करीब शाहिद करीब आठ साल पहले सऊदी में रहते थे. वहीं इनके संबंध अफगानिस्तान, पाकिस्तान और ईरानी लोगों से हुए. काकोरी के बेगरिया निवासी ये दोनों वहीं आतंकवाद से जुड़े और भारत लौटकर सक्रिय हो गए. मिनहाज का पड़ोसी शाहिद मूलरूप से उन्नाव का रहने वाला है. मिनहाज व शाहिद ने मिलकर गैराज खोल रखा था. सऊदी जाने से पहले गैराज को किराए पर दे दिया. आठ साल पहले सऊदी से लौटने के बाद दोनों गैराज खुद चलाने लगे. अफगानिस्तान, पाकिस्तान और ईरान के कुछ संदिग्धों से मिनहाज व शाहिद की लगातार बात होती थी. यह बात एटीएस की पूछताछ में सामने आई.
पत्नी व माता-पिता हिरासत में, रात निकलती थी एसयूवी : मिनहाज की पत्नी इंटीग्रल यूनिवर्सिटी में तैनात है. उनके घर से बरामद एसयूवी में इंटीग्रल यूनिवर्सिटी का वाहन पास भी लगा है. एटीएस ने देर शाम को मिनहाज के पिता सिराज, उसकी मां और पत्नी को हिरासत में ले लिया. उनसे पूछताछ कर रही है. मिनहाज के घर के पास पंक्चर बनाने वाले दानिश ने बताया कि बरामद एसयूवी को कभी-कभार शाहिद रात में ही निकालता था.
6 महीनों में बदलते थे गाड़ियों के टायर : दानिश के मुताबिक, शाहिद और मिनहाज गैराज में खड़ी गाड़ी का टायर छह महीने में बदल लेते थे. इस पर उसे संदेह होता था. दानिश के मुताबिक, शाहिद ने मड़ियांव इलाके से पुराने तीन टायर खरीदे थे. एक टायर कम होने के कारण उससे संपर्क किया. उससे एक टायर लिया भी लेकिन वह उसकी एसयूवी में नहीं लग सका. जब वे लौटाने आए तो दानिश ने मना कर दिया, कहा कि गैराज में ही रहने दें जब जरूरत होगी तो मांग लिया जाएगा.
कुछ दिन पहले संदिग्ध पाकिस्तानी आए थे : एटीएस के सूत्रों के मुताबिक, आरोपियों के घर पर अफगानिस्तान व पाकिस्तान सहित ईरान के लोगों का आना-जाना था. इन्हीं के जरिए ही यूपी में आतंक फैलाना चाहते थे. इसके लिए भारी मात्रा में विस्फोटक भी उपलब्ध कराया गया था. कुछ दिन पहले तीन-चार संदिग्ध पाकिस्तानी काकोरी आए थे. उन्होंने पूरी साजिश रची थी. इसके बाद उसी एसयूवी से कश्मीर गए थे जो शाहिद के गैराज से एटीएस ने बरामद हुई है. इसके बाद से जम्मू कश्मीर व केंद्रीय सुरक्षा एजेंसियों ने उनकी एसयूवी के नंबर को एटीएस से साझा किया था. इसके बाद ही दोनों आतंकियों को पकड़ लिया गया.
नक्शे जलाकर गैराज से भाग निकले पांच लोग : शाहिद के गैराज में पांच लोग छिपे हुए थे. ये लोग रात में बाहर घूमे फिर रात में यहीं सोए. एटीएस कमांडों ने जब छापा मारा तो पांच लोग गैराज की छत पर चले गए. कमांडो जब गैराज में घुसे तो वहां सिर्फ दो लोग ही मिले. गैराज के अंदर कुछ कागज जले हुए मिले. बताया जा रहा है कि इनमें एक नक्शा भी था. यह नक्शा कहां का और किस इरादे से वहां था, इस बारे में पता लगाया जा रहा है. माना जा रहा है कि आंतकियों को जो ऑपरेशन करना था, यह उसका ही नक्शा था.
Posted By : Amitabh Kumar