Umang App: अब जाति, निवास और आय प्रमाण पत्र के लिए नहीं काटने होंगे चक्कर, उमंग एप से कर सकेंगे प्राप्त

यूपी के नागरिकों को अब आय, जाति और निवास प्रमाणपत्र के लिए जन सुविधा केंद्र जाने की जरूरत नहीं पड़ेगी. राजस्व विभाग की ओर से अभी तक ई-डिस्ट्रिक्ट पोर्टल या ई-साथी के माध्यम से जन सेवा केंद्रों के जरिए उपलब्ध कराए जा रहे आय, जाति और निवास प्रमाणपत्र अब उमंग एप के जरिए भी प्राप्त हो सकेंगे.

By Prabhat Khabar News Desk | July 25, 2022 12:07 PM

Lucknow News: आज के डिजिटल युग में अब अधिकतर काम ऑनलाइन होने लगे हैं. ऐसे में एक और अच्छी खबर ये कि अब आय, जाति और निवास प्रमाणपत्र के लिए अब कहीं जाने की जरूरत नहीं पड़ेगी. राजस्व विभाग की ओर से अभी तक ई-डिस्ट्रिक्ट पोर्टल या ई-साथी के माध्यम से जन सेवा केंद्रों के जरिए उपलब्ध कराए जा रहे आय, जाति और निवास प्रमाणपत्र अब उमंग एप के जरिए भी प्राप्त हो सकेंगे.

अब उमंग एप पर जाति और आय प्रमाण पत्र

दरअसल, ई-डिस्ट्रिक्ट पोर्टल पर उपलब्ध इन सेवाओं को वेब सर्विस के माध्यम से उमंग मोबाइल एप पर इंटीग्रेट कर दिया गया है. इस सुविधा की सफलतापूर्वक टेस्टिंग के बाद जनसुविधा के लिए चालू कर दिया गया है. इस संबंध में प्रमुख सचिव राजस्व सुधीर गर्ग की ओर से समस्त अपर मुख्य सचिव/प्रमुख सचिव मंडलायुक्तों और जिलाधिकारियों को इस बारे में सर्कुलर जारी कर जानकारी दे दी गई है.

15 रुपए की फीस में मिलेंगे प्रमाण पत्र

उमंग एप पर इन सेवाओं के आवेदन के लिए महज 15 रुपए की फीस निर्धारित की गई है. कम फीस का उद्देश्य अधिक से अधिक लोगों को एक ही प्लेटफार्म पर सभी चीजें उपलब्ध कराना है, ताकि लोगों को सरकार की ओर से मिलने वाली सेवाओं एक ही प्लेटफार्म पर मिल सकें. इस एप के जरिए नागरिक केंद्र और राज्य सरकारों से मिलने वाली सेवाओं का लाभ उठा सकते हैं.

यूपी सरकार ने नागरिकों को एक ही प्लेटफार्म पर आसानी से सरकारी सेवाओं तक पहुंचने में सक्षम बनाने के उद्देश्य से एक और डिजिटल कदम उठाया है. राजस्व विभाग द्वारा प्रदान की जाने वाली सेवाओं– आय, जाति और निवास से संबंधित प्रमाण पत्र –को जल्द ही उमंग ऐप पर उपलब्ध कराने के लिए तैयार है.

उमंग एप का काम क्या है

बता दें कि UMANG (Unified Mobile Application for New-age Governance) ऐप को इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय के राष्ट्रीय ई-गवर्नेंस डिवीजन द्वारा विकसित किया गया था और 2017 में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा अनावरण किया गया था. एप्लिकेशन विभिन्न सरकारी संगठनों की कई सेवाओं तक पहुंच प्रदान करता है. राज्यों और केंद्र सरकार से मिलने वाली सुविओं के अलावा उपयोगिता भुगतान (utility payments) की सुविधा प्रदान करता है.

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