लखनऊ : उत्तर प्रदेश के औरैया में शनिवार की सुबह एक दर्दनाक सड़क हादसा हुआ है. इस भीषण सड़क हादसे में 24 मजदूरों की मौत हो गयी है. लॉकडाउन के बीच ये मजदूर एक ट्रक में सवार होकर वापस अपने घर लौट रहे थे कि औरया के पास इनकी ट्रक दूसरे ट्रक से टकरा गयी. प्राप्त जानकारी के मुताबिक राजस्थान से ये सभी मजदूर एक ट्रक में चूने की बोरियों के बीच लेटकर अपने घरों की तरफ लौट रहे थे. लेकिन शनिवार की सुबह हुए दर्दनाक हादसे में चूने की उन्हीं बोरियों के नीचे दबकर मजदूरो ने दम तोड़ दिया.
वहीं घटनास्थल पर मौजूद लोगों के अनुसार कि हादसे के तुरंत बाद ढाबा मालिक ने 112 पर कई बार फोन मिलाया लेकिन किसी ने उठाया नहीं बाद में एक दरोगा को फोन किया गया तक स्थानीय पुलिस मौके पर पहुंची. हादसे के बाद मौके पर सबसे पहले स्थानीय लोग पहुंचे. बता दें कि उत्तर प्रदेश के औरैया जिले में शनिवार सुबह ट्रक और डीसीएम वाहन की टक्कर में 24 प्रवासी मजदूरों की मौत हो गयी जबकि 36 अन्य मजदूर घायल हो गये. इनमें से 14 गंभीर रूप से घायल मजदूरों को सैफेई इटावा के पीजीआई में भर्ती कराया गया है. इन दोनों वाहनों में ज्यादातर मजदूर पश्चिम बंगाल और झारखंड के थे. कानपुर के पुलिस के मुताबिक राजस्थान के जयपुर से मजदूरों को लेकर आ रहे एक ट्रक ने मेटाडोर को टक्कर मार दी. टक्कर इतनी जबरदस्त थी कि दोनों वाहन सड़क किनारे बने गड्ढे में जा गिरे.
इस सड़क हादसे पर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए अपनी जान गंवाने वाले मजदूरों के परिवारों के प्रति गहरी संवेदना व्यक्त की है. मुख्यमंत्री ने यह भी निर्देश दिया है कि सभी घायलों को तुरंत चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराई जाए. साथ ही कमिश्नर और आईजी कानपुर को घटनास्थल का दौरा करने और दुर्घटना के कारणों की तुरंत रिपोर्ट देने का आदेश भी दिये हैं.
वहीं बीएसपी प्रमुख मायावती ने कहा कि कल सीएम योगी ने कहा कि जो मजदूर यूपी में आते हैं या राज्य से गुजरते हैं, अधिकारी उनके भोजन, पारगमन और आश्रय की व्यवस्था करेंगे. यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि अधिकारियों द्वारा सीएम के निर्देशों को गंभीरता से नहीं लिया जा रहा है, जिसके कारण औरैया में एक बड़ा हादसा हुआ. मैं मुख्यमंत्री से उन अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग करता हूं जिन्होंने अपनी जिम्मेदारियों को पूरा नहीं किया. इस दुर्घटना में मारे गए या घायल हुए लोगों के परिवारों को वित्तीय सहायता प्रदान की जानी चाहिए.