गमछा चैलेंज के बाद अब जिला प्रशासन का भूसा चैलेंज
बलिया : कोविड-19 कोरोना वायरस संकट से निपटने के चैलेंज के साथ ही साथ जिला प्रशासन इन दिनों एक और चैलेंज पर कार्य कर रहा है और वह है भूसा चैलेंज. सोशल मीडिया पर चले गमछा चैलेंज के बाद जिला प्रशासन के इस चैलेंज की भी चर्चा खूब हो रही है. बाढ़ की त्रासदी और […]
बलिया : कोविड-19 कोरोना वायरस संकट से निपटने के चैलेंज के साथ ही साथ जिला प्रशासन इन दिनों एक और चैलेंज पर कार्य कर रहा है और वह है भूसा चैलेंज. सोशल मीडिया पर चले गमछा चैलेंज के बाद जिला प्रशासन के इस चैलेंज की भी चर्चा खूब हो रही है. बाढ़ की त्रासदी और निराश्रित गो वंशों के लिए जिला प्रशासन ने जनसहयोग से भूसा इकट्ठा करने का निर्णय लिया है. सभी उपजिलाधिकारियों ने इसकी कमान भी संभाल ली है और सभी में इस बात की होड़ मची है कि मेरे तहसील क्षेत्र से ही सर्वाधिक भूसा इकट्ठा हो. जिले के सभी विकासखंडों और नगरीय क्षेत्रों में स्थापित निराश्रित गो वंश आश्रय केंद्रों में वर्ष भर मवेशियों के चारे की दिक्कत न हो इसके लिए जिला प्रशासन ने गेहूं कटाई के सीजन में भी दूरगामी सोच के तहत भूसा संग्रह करने का कार्य प्रारंभ कर दिया है.
सभी तहसीलों में निष्प्रयोज्य पड़े गोदामों में भूसा एकत्र करने की योजना है. जिला प्रशासन ने यह निर्णय लिया है कि जिले की सभी 948 ग्राम पंचायतों के ग्राम प्रधानों से सहयोग के रूप में एक-एक ट्राली भूसा लिया जाएगा. इसके अलावा जिले के समृद्ध किसानों से भी इस अभियान में भूसा दान करने का आग्रह किया जाएगा. तहसील क्षेत्रों में भूसा एकत्र करने के लिए अभियान चलाना कोई नयी और बड़ी बात नहीं है पर यहां बड़ी बात यह है कि सभी उपजिलाधिकारियों ने इस अभियान को भूसा चैलेंज के रूप में लिया है.
सभी लोग यह सोच रहे हैं कि उनके तहसील में सर्वाधिक भूसा संग्रह हो.पांच सौ कुंतल का लक्ष्य है बेल्थरारोड एसडीएम काउपजिलाधिकारी बेल्थरारोड राजेश यादव ने इस चैलेंज के तहत पांच सौ कुंतल भूसा संग्रह करने का लक्ष्य रखा है. इस क्रम में एसडीएम द्वारा 150 कुंतल भूसा एकत्रित भी किया जा चुका है. इसी क्रम में एसडीएम सदर अश्विनी श्रीवास्तव ने बताया कि भूसा संग्रह का कार्य प्रारंभ हो गया है. प्रयास होगा कि अधिक से अधिक भूसा संग्रह हो. सभी को दिया चैलेंज देखे और रहेगा सबसे आगे : डीएमजिलाधिकारी श्रीहरि प्रताप शाही ने बताया कि भूसा चैलेंज सभी उपजिलाधिकारियों को दिया गया है. यह बहुत बड़ा कार्य है. सभी उपजिलधिकारी इसे पूरे मनोयोग से कर भी रहे हैं. देखना है किस तहसील में सर्वाधिक भूसा संग्रह होता है.