…. तो ठेकेदार की वजह से भगवा रंग से रंगी गयी थी हज समिति की दीवारें

लखनऊ : भगवा रंग से हज समिति कार्यालय के बाहरी दीवारें रंगी जाने के बाद कल बवाल पैदा हो गया था.इस बीच पैदा विवाद को लेकर सरकार का बयान सामने आया है. हज समिति के सचिव आरपी सिंह ने बताया कि ठेकेदार की वजह से बाहरी दीवारें भगवा रंग में रंग दी गयी थी. आज […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | January 6, 2018 8:06 PM

लखनऊ : भगवा रंग से हज समिति कार्यालय के बाहरी दीवारें रंगी जाने के बाद कल बवाल पैदा हो गया था.इस बीच पैदा विवाद को लेकर सरकार का बयान सामने आया है. हज समिति के सचिव आरपी सिंह ने बताया कि ठेकेदार की वजह से बाहरी दीवारें भगवा रंग में रंग दी गयी थी. आज हज समिति के कार्यालय की दीवारें वापस पुराने रंग में रंग दी गयी है. गौरतलब है कि राजधानी में मुख्यमंत्री कार्यालय और कुछ अन्य भवनों के बाद अब उत्तर प्रदेश राज्य हज समिति के कार्यालय की बाहरी दीवारें भगवा रंग में रंग दी गयी थी.

दीवारों पर भगवा पेंट कल कराया गया था.हालांकि कल विवाद बढ़ने के बाद जब मीडिया ने अल्पसंख्यक मामलों के राज्य मंत्री मोहसिन रजा से संपर्क किया. मोहसिन रजा ने बताया था कि मुझे उन लोगों की बात समझ नहीं आती जिन्हें नये रंग से दिक्कत है. क्या भगवा राष्ट्रविरोधी रंग है ? भगवा उजाले और ऊर्जा का प्रतीक है. उन्होंने कहा, जब सूरज की पहली किरण धरती पर पड़ती है तो यह भगवा रोशनी के साथ आती है. रजा ने कहा कि भगवा रंग सकारात्मकता का प्रतीक है. यह भगवान का तोहफा है.

मुझे लगता है कि जो हज समिति के कार्यालय की दीवारों पर भगवा रंग लगाने के खिलाफ हैं, वे तिरंगे के केसरिया रंग पर भी आपत्ति कर सकते हैं. कुल मिलाकर सरकारी कार्यालय की बाहरी दीवारों को पेंट किया गया है ना कि उसके भवन या किसी की निजी संपत्ति को.सूबे के मुख्यमंत्री आदित्यनाथ योगी स्वयं भगवा रंग के वस्त्र पहनते हैं और उनके अनुयायी उन्हें महाराज के नाम से पुकारते हैं. दिलचस्प बात यह है कि योगी के क्षेत्र गोरखपुर में स्थित ऐतिहासिक घंटा घर भी भगवा रंग से रंगा हुआ है.

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