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यूपी में बिजली कटौती के खिलाफ AAP ने किया प्रदेशव्यापी प्रदर्शन, लखनऊ में हुई पुलिस से नोकझोंक

उत्तर प्रदेश में बिजली कटौती की समस्या को लेकर आम आदमी पार्टी ने लखनऊ समेत अन्य जिलों में विरोध प्रदर्शन किया है. इसके साथ ही मुख्यमंत्री के नाम अपना ज्ञापन भी दिया है.

Lucknow : उत्तर प्रदेश इन दिनों भीषण गर्मी के दौरान बिजली कटौती से जूझ रहा है, आम जनता त्राहिमाम कर रही है. राजधानी लखनऊ से प्रदेश के अधिकतर जिलों में बिजली कटौती की शिकायतें आ रही है. वहीं, आम आदमी पार्टी ने गुरुवार को पूरे प्रदेश में बिजली कटौती को लेकर शांतिपूर्वक धरना प्रदर्शन किया. इसके साथ ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नाम ज्ञापन भी दिया है. इसी क्रम में लखनऊ जिला अध्यक्ष शेखर दीक्षित के नेतृत्व में शक्ति भवन पर जोरदार विरोध प्रदर्शन किया. इस दौरान कार्यकर्ताओं और पुलिस में झड़प हुई, पुलिस कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार कर इको गार्डन ले गई.

इस दौरान जिला अध्यक्ष शेखर दीक्षित ने कहा कि प्रदेश में बिजली की अघोषित कटौती हो रही है. जनता बिजली कटौती से त्राहिमाम कर रही है. पूरे प्रदेश में बिजली कटौती का संकट लोग झेल रहे हैं गर्मी की वजह से अस्पतालों में लोग भर्ती हो रहे हैं और मौतें हो रही हैं अकेले पूर्वांचल में सैकड़ों लोगों की मौतें हो चुकी हैं. अस्पतालों में भर्ती मरीज गर्मी से बेहाल होकर भाग रहे हैं और गर्मी के कारण तमाम बीमारियों का शिकार हो रहे हैं.

गर्मी के कारण मरे लोगों के परिजनों को मिले मुआवजा

पार्टी की ओर से शेखर दीक्षित ने सरकार से मांग की कि प्रदेश में निर्बाध बिजली आपूर्ति कराई जाये जिससे इस भयंकर गर्मी से लोगों को निजात मिल सके और लोगों की मौतें न हों. साथ ही गर्मी के कारण प्रदेश में जो मौतें हुई है उन मृतक के परिवार को उचित मुआवजा और सरकारी नौकरी दी जाये और बिजली विभाग में रिक्त पदों को जल्द से जल्द भरा जाये.

दिल्ली की जनता को मुफ्त बिजली मिल सकती है तो यूपी को क्यों नहीं?

शेखर दीक्षित ने आगे कहा कि ये बेहद दुर्भाग्य है कि 21वीं सदी में लोगों को बिजली जैसी मूलभूत आवश्यकता की पूर्ति नहीं हो रही है. बिजली आपूर्ति न होने की वजह से गर्मी के कारण लोगों की मौत हुई है ये मौत नहीं हत्या है. लोगों की मौतों पर भाजपा के मंत्री संवेदनहीन बयान दे रहे हैं ये दुःखद है. वहीं दूसरी तरफ दिल्ली की केजरीवाल सरकार बिना कटौती 24 घंटे बिजली दिल्ली की जनता को उपलब्ध करा रही है.

उत्तर प्रदेश की जनता योगी सरकार से जानना चाहती है कि जब दिल्ली की जनता को मुफ्त और बिना कटौती 24 घंटे बिजली उपलब्ध हो सकती है तो उत्तर प्रदेश की जनता को देश में सबसे महंगी और बिना कटौती 24 घंटे बिजली क्यों नहीं उपलब्ध हो पा रही है ? जबकि भारतीय जनता पार्टी ने चुनाव के दौरान उत्तर प्रदेश की जनता को मुफ्त और 24 घंटे बिजली देने का वादा किया था आखिर यह वादा जुमला क्यों हो गया? जनता जानना चाहती है.

उन्होंने दीक्षित ने कहा आज उत्तर प्रदेश में 27000 मेगावाट बिजली की जरूरत है, और मात्र 4 हजार मेगावाट बिजली का उत्पादन हो रहा है. 23 हजार मेगावाट बिजली बाहर से खरीदी जा रही है. उसके बाबजूद 10- 12 घंटे की बिजली कटौती होती है. अघोषित बिजली कटौती से लोग बेहद परेशान है. बिजली विभाग में वर्तमान में 1 लाख कर्मचारियों की जरूरत है लेकिन मात्र 34 हजार कर्मचारी बिजली विभाग में कार्यरत हैं.

प्रदेश में 66 हजार बिजली कर्मचारियों की है कमी

साथ ही 66 हजार बिजली कर्मचारियों की कमी है जिसकी वजह से विभाग ठीक से काम नहीं कर पा रहा है. ट्रांसफार्मर फूंक जा रहे है, जगह जगह तार टूट रहे है. कर्मचारियों के अभाव में काम नहीं हो पा रहा है और लोग गर्मी में रहने को मजबूर है. धरना प्रदर्शन में बालगोविंद वर्मा, नीरा सक्सेना, फकरुल इमाम, शहंशाह हुसैन, ज्ञान सिंह, जॉनी,अनिल जैन, संजय मिश्रा, नायब जैदी, मुकेश शुक्ला, अफताब अंसारी, पी0 के0 बाजपेयी, बी एन खरे, सुजीत सिंह, बबिता यादव, नीलम सिंह जसोदा मौर्य, दिनेश पांडे, विनय अरोरा सहित कई कार्यकर्ता मौजूद रहे.

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