Lucknow: आर्मी चीफ जनरल एमएम नरवणे दो दिन से लखनऊ में हैं. वह सेंट्रल कमांड के अधिकारियों के साथ हिमालयी क्षेत्रों में गर्मी के दौरान सीमा की सुरक्षा पर चर्चा करने के लिए आए थे. गर्मी में दुर्गम पहाड़ों पर बर्फ तेजी से पिघलती है. इसका फायदा दुश्मन देश उठा सकता है. सेंट्रल कमांड की 3488 किलोमीटर सीमा चीन से सटी है. इसलिए गर्मी में इन इलाकों को सुरक्षित रखना सेना की जिम्मेदारी है.
भारत-चीन की सीमा काफी लंबी है. लद्दाख, उत्तराखंड और अरुणाचल प्रदेश-सिक्किम की सीमा पर बर्फ पिघलने के बाद सेना की मुस्तैदी बढ़ानी पड़ती है. इस बदलते मौसम में दुश्मन की हरकतों पर नजर रखने के लिए सेना रणनीति बनाती है. फौजी भाषा में इसे ‘समर पोजीशनिंग’ कहा जाता है. जनरल एमएम नरवणे की मौजूदगी में सेंट्रल कमांड के आर्मी और एयरफोर्स के अधिकारियों ने इसी समर पोजीशनिंग पर चर्चा की.
सेंट्रल कमांड में आने वाले उत्तराखंड के चमोली जिले में माणा, नीति, मलारी, बड़ाहोती घाटी में बहुत सी फॉरवर्ड पोस्ट हैं. इनमें कई जगह पैरा मिलिट्री फोर्स आईटीबीपी की तैनाती है. उत्तराखंड में माणा गांव भारत का अंतिम गांव है. यह जगह बहुत ऊंचाई पर है. इसलिए यहां शांति बनी रहती है. चीन भी यहां ज्यादा हरकत नहीं करता है.
जबकि बड़ाहोती, नीति में चीन अधिकतर अपनी एक्टिविटी बनाए रहता है. लेकिन भारतीय सेना उसका मुंहतोड़ जवाब देती रहती है. सेंट्रल कमांड में आने वाली उत्तराखंड के गांवों से सटी चीन की सीमा पर भारतीय सेना को तैयार रखना सबसे बड़ी चुनौती है. भारत-चीन की 3488 किलोमीटर की सीमा एक साथ है. इसके अलावा जम्मू कश्मीर, हिमाचल, लद्दाख, उत्तराखंड, सिक्किम, अरुणाचल प्रदेश की सीमा भी चीन से मिलती है. इसलिए गर्मी के मौसम में भारतीय सेना को यहां निगरानी बढ़ानी पड़ती है.
गौरतलब है कि आर्मी चीफ जनरल एमएम नरवणे बुधवार को अपने विशेष विमान से बीकेटी एयरफोर्स स्टेशन पहुंचे थे. यहां से वह हेलीकॉप्टर से लखनऊ कैंट स्थित सूर्या परिसर में पहुंचे थे. उनके काफिले में छह हेलीकॉप्टर थे. यहां से वह कुछ सौ मीटर की दूरी पर स्थित सेंट्रल कमांड हेडक्वार्टर में आयोजित कांफ्रेंस में प्रतिभाग करने पहुंचे थे. आर्मी चीफ के सेंट्रल कमांड हेडक्वार्टर आने से कैंट में कड़ी सुरक्षा व्यवस्था थी. कई जगह ट्रैफिक भी रोका गया था.
आर्मी चीफ जनरल एमएम नरवणे ने अपने संक्षिप्त दौरे में छावनी स्थित सेना के बेस व कमांड अस्पताल का निरीक्षण किया. उन्होंने आर्मी मेडिकल कॉर्प्स (एएमसी) व गोरखा राइफल्स केअधिकारियों से भी मुलाकात की. इस दौरान उन्होंने अधिकारियों व सिपाहियों का उत्साहवर्द्धन भी किया.