कांग्रेस नेता राहुल गांधी की अब सावरकर मामले में बढ़ी मुश्किलें, कोर्ट ने UP पुलिस को दिया जांच का आदेश
अधिवक्ता नृपेंद्र पांडेय ने कोर्ट में अर्जी दाखिल कर मुकदमा दर्ज करने का आदेश देने की मांग की थी. उन्होंने आरोप लगाया कि भारत जोड़ो पदयात्रा के दौरान जानबूझकर षड्यंत्र के तहत राहुल गांधी ने 17 नवंबर 2022 को सार्वजनिक मंच से विनायक दामोदर सावरकर की आलोचना की. उन्हें अंग्रेजों का नौकर बुलाया.
Lucknow: कांग्रेस नेता राहुल गांधी (Rahul Gandhi) की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं. मोदी सरनेम के बाद अब विनायक दामोदर सावरकर (Vinayak Damodar Savarkar) के खिलाफ अपमानजनक टिप्पणी को लेकर कोर्ट ने पुलिस को उनके खिलाफ जांच का आदेश दिया है. राहुल गांधी ने भारत जोड़ो यात्रा (Bharat Jodo Yatra) के दौरान सावरकर पर टिप्पणी की थी.
एमपी एमएलए कोर्ट के अतिरिक्त मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट ने सीआरपीसी की धारा 156 (3) के तहत अधिवक्ता नृपेंद्र पांडेय की ओर से दायर एक आवेदन पर यह आदेश पारित किया. कोर्ट ने हजरतगंज पुलिस को एक इंस्पेक्टर स्तर के अधिकारी की ओर से मामले की जांच कर एक महीने में रिपोर्ट कोर्ट को सौंपने का आदेश दिया. मामले में अगली सुनवाई जून को होगी.
कोर्ट ने कहा कि इस प्रकरण को देखने से पता चलता है कि राहुल गांधी नई दिल्ली के रहने वाले हैं, जबकि उनके द्वारा जिस आपत्तिजनक बयान को देने की बात कही गई है, वह महाराष्ट्र के अकोला का है. यह दोनों ही जगह कोर्ट के क्षेत्राधिकार के बाहर हैं. ऐसे में पुलिस से जांच कराया जाना बेहद जरूरी है.
इस मामले में अधिवक्ता नृपेंद्र पांडेय ने कोर्ट में अर्जी दाखिल कर मुकदमा दर्ज करने का आदेश देने की मांग की थी. उन्होंने अपनी याचिका में आरोप लगाया है कि भारत जोड़ो पदयात्रा के दौरान जानबूझकर षड्यंत्र के तहत राहुल गांधी ने 17 नवंबर 2022 को सार्वजनिक मंच से विनायक दामोदर सावरकर की आलोचना की. कांग्रेस नेता ने समाज में नफरत फैलाने की मंशा से विनायक दामोदर सावरकर को अंग्रेजों का नौकर बुलाया और कहा कि उन्होंने अंग्रेजों से पेंशन ली थी. जबकि वीर सावरकर एक निर्भीक स्वतंत्रता सेनानी थे, जिन्होंने भारत माता को अंग्रेजों की गुलामी से मुक्त कराने के लिए अमानवीय अत्याचारों को सहा.
शिकायतकर्ता ने कहा कि राहुल गांधी ने वीर सावरकर प्रति हीन भावना फैलाने के लिए इस तरह अभद्र शब्दों का प्रयोग करते हुए उन्हें अपमानित किया. इसके साथ ही घृणास्पद बयान दिए. याचिका में कहा गया कि वीर सावरकर को महात्मा गांधी ने देशभक्त बताया है. लेकिन, राहुल गांधी अपने बयानों से उनके खिलाफ अनावश्यक प्रचार करके सामाजिक वैमनस्य और द्वेष पैदा कर रहे हैं. उन्होंने देश के सभी स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों का अपमान किया है. इस वजह से शिकायतकर्ता को बेहद मानसिक पीड़ा हुई है.
गौरतलब है कि राहुल गांधी ने भारत जोड़ो यात्रा के दौरान बीते नवंबर के महीने में महाराष्ट्र में विनायक दामोदर सावरकर को लेकर बयान दिया था. उन्होंने दावा किया था कि सावरकर ने अंग्रेजों की मदद की थी. उन्होंने अंग्रेजों को खत लिखकर कहा था कि मैं आपका नौकर रहना चाहता हूं. उन्होंने डर की वजह से माफीनामे पर हस्ताक्षर किए थे. ऐसा करके उन्होंने महात्मा गांधी और अन्य नेताओं को धोखा दिया था.