PCS Jyoti Maurya के खिलाफ नियुक्ति विभाग ने जांच की शुरू, प्रयागराज के कमिश्नर ने गठित की कमेटी, ये है मामला
पीसीएस अफसर ज्योति मौर्य के पति आलोक मौर्य के लगाए आरोपों पर जब जांच शुरू हो गई है. इसके लिए कमेटी का गठन कर दिया गया है. आलोक ने ज्योति पर लेनदेन संबंधी शिकायतें की हैं. इसी आधार पर ये जांच की जा रही है.
Lucknow: यूपी में पीएसएस अफसर ज्योति मौर्य (PCS Jyoti Maurya) की मुश्किलें बढ़ सकती हैं. अपने पति आलोक मौर्य (Alok Maurya) से विवादों के चलते सुखियों में आईं ज्योति मौर्य को लेकर शासन ने अहम निर्णय किया है. नियुक्ति विभाग ने उनके खिलाफ जांच के आदेश दिए हैं. जांच में अगर ज्योति मौर्य पर लगे आरोपों की पुष्टि होती है, तो उनके खिलाफ कार्रवाई होना तय है.
बरेली में तैनात पीसीएस अधिकारी ज्योति मौर्य के खिलाफ नियुक्ति विभाग ने जांच के आदेश दिए हैं. उनके पति आलोक मौर्य ने अनियमित लेनदेन संबंधी शिकायतें की हैं. आलोक शुरुआत से ज्योति पर भ्रष्टाचार को लेकर आरोप लगा रहे हैं. हालांकि अभी तक मामले में इसकी पुष्टि नहीं हो सकी है.
वहीं अब प्रकरण की जांच प्रयागराज के कमिश्नर विजय विश्वास पंत करेंगे. बताया जा रहा है कि शासन स्तर पर आदेश मिलते ही प्रयागराज कमिश्नर ने अपने स्तर से जांच के लिए कमेटी का गठन भी कर दिया है, जिसने अपनी जांच शुरू कर दी है.
दरअसल ज्योति मौर्य पिछले कुछ समय से होमगार्ड कमांडेंट मनीष दुबे के साथ करीबी रिश्तों को लेकर सुर्खियों में रही हैं. इस पर उनके पति आलोक मौर्या ने कई फोरम पर शिकायतें की थीं. उन्होंने नियुक्ति विभाग को भी भेजी शिकायत में अनियमित लेनदेन का जिक्र किया है. इसे लेकर ज्योति मौर्य पर भ्रष्टाचार के आरोप लगाए गए हैं.
अब इस प्रकरण में नियुक्ति विभाग ने आरोपों को लेकर जांच कराने का निर्णय किया है. मामले में आगे की जांच के लिए प्रयागराज के अपर आयुक्त (प्रशासन) की अध्यक्षता में कमेटी का गठन कर दिया गया है. इसमें प्रयागराज के एडीएम प्रशासन और वहीं की एसीएम फर्स्ट को भी रखा गया है. कमेटी अपनी रिपोर्ट शासन को सौंपेगी, इसके आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी.
ज्येाति मौर्य प्रकरण में पूर्व आईपीएस अफसर अमिताभ ठाकुर भी सामने आ गए हैं. आजाद अधिकार सेना के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमिताभ ठाकुर ने पीसीएस अफसर ज्योति मौर्य के पति आलोक मौर्य के उपलब्ध कराए गए कथित वसूली लिस्ट के संबंध में लोकायुक्त के समक्ष शिकायत की है.
अपनी शिकायत में अमिताभ ठाकुर ने कहा कि आलोक मौर्य ने उन्हें डायरी के कई पन्ने उपलब्ध कराए गए, जिसमें कई हस्तलिखित एंट्री हैं. इन एंट्री में विभिन्न मदों में तथा विभिन्न व्यक्तियों के साथ लेनदेन की बातें अंकित हैं.
आलोक मौर्य के अनुसार ये सारी एंट्री ज्योति मौर्य की नौकरी में प्राप्त अनुचित धन के लेनदेन से संबंधित हैं जो स्वयं उनके द्वारा लिखी गई हैं. इन पन्नों पर ऊपर शुभ लाभ लिखा है. जहां ‘एल’ लिखा हुआ है उसका मतलब लाख से है और यहां ‘टी’ लिखा हुआ है उसका मतलब हजार से है.
अमिताभ ठाकुर ने कहा कि उन्होंने कई बार इस संबंध में शासन को शिकायत की. लेकिन, इतने गंभीर मामले में भी अब तक कोई कार्रवाई नहीं होने पर उन्होंने लोकायुक्त के समक्ष शिकायत की है.
उधर इस प्रकरण में ज्योति मौर्य के पति आलोक के आरोपों के बाद होमगार्ड कमांडेंट मनीष दुबे विवादों में हैं. प्रकरण में होमगार्ड कमांडेंट मनीष दुबे के खिलाफ सौंपी गई जांच रिपोर्ट का शासन में परीक्षण हो रहा है. हालांकि अभी तक मामला किसी नतीजे तक नहीं पहुंचा है. कुछ तथ्यों को लेकर दुविधा की स्थिति बनी हुई है. इसकी वजह से परीक्षण में तमाम खामियां सामने आ रही हैं.
बताया जा रहा है कि इन खामियों और उसके कारण हो रही दुविधा की वजह से ही कमांडेंट के खिलाफ अभी तक कोई एक्शन नहीं लिया जा सका है. सूत्रों के मुताबिक जांच रिपोर्ट पर विधिक राय लिए जाने की तैयारी है. इसके आधार पर सरकार कार्रवाई करेगी. होमगार्ड कमांडेंट पर महिला पीसीएस अधिकारी ज्योति मौर्य के पति द्वारा गंभीर आरोप लगाए जाने के बाद मामले की जांच रिपोर्ट शासन को सौंपी जा चुकी है.
महिला अधिकारी से करीबी रिश्तों और उसके पति की हत्या के षड्यंत्र समेत अन्य तथ्यों की जांच की गई थी. डीआईजी होमगार्ड, प्रयागराज रेंज की रिपोर्ट में दोषी पाए गए कमांडेंट के विरुद्ध होमगार्ड मुख्यालय से निलंबन व विभागीय कार्यवाही की संस्तुति करते हुए रिपोर्ट शासन को भेजी गई थी.
इसके साथ ही महिला अधिकारी के पति की हत्या के षड्यंत्र के मामले में एफआईआर दर्ज कर जांच किए जाने की बात भी कही गई थी. कहा जा रहा है कि जांच रिपोर्ट में इसे लेकर कोई प्रत्यक्ष प्रमाण नहीं दिया गया. जो साक्ष्य दिए गए हैं, उनका फॉरेंसिक परीक्षण कराए बिना किसी नतीजे पर नहीं पहुंचा जा सकता.
इस संबंध में कुछ वरिष्ठ अधिकारी का कहना है कि कमांडेंट की पत्नी ने उनके खिलाफ उत्पीड़न के जो आरोप लगाए हैं, उसे लेकर भी तस्वीर पूरी तरह से साफ नहीं है. कमांडेंट और उनकी पत्नी के बीच विवाद को लेकर कोर्ट में तलाक का वाद दायर है.
दो वर्ष पहले मनीष दुबे से विवाह करने वाली लखनऊ की युवती ने डीआईजी को दिए अपने बयान में दहेज मांगने का आरोप लगाया है. अधिकारियों के मुताबिक विवाह के एक माह बाद ही अदालत में तलाक का मुकदमा दायर कर दिया गया था. ऐसे में दहेज मांगने के आरोप का अब संज्ञान लेना विधिक रूप से उचित नहीं है. इसके साथ ही महिला पीसीएस अधिकारी का भी अपने पति से पुराना विवाद है. इन स्थितियों के मद्देनजर शासन स्तर पर अभी कोई निर्णय नहीं किया जा सका है.