Raebareli Lok Sabha Election Result 2024: राहुल गांधी के लिए रायबरेली ने बिछाए पलक-पांवड़े, बीजेपी प्रत्याशी से 2.97 लाख वोट से आगे
Raebareli Lok Sabha Election Result 2024 रायबरेली लोकसभा सीट गांधी परिवार की सीट कही जाती है. इस सीट से फिरोज गांधी से लेकर सोनिया गांधी तक ने चुनाव लड़ा है. इस बार राहुल गांधी परिवार की पारंपरिक सीट से दावेदार हैं. जबकि अमेठी के बाद बीजेपी यहां भी कमल खिलाने के लिए जोर लगा रही है.
रायबरेली: रायबरेली (Raebareli Lok Sabha Election Result 2024) के लोगों ने लोकसभा चुनाव 2024 में गांधी परिवार को निराश नहीं किया है. यहां से पहली बार चुनाव लड़ रहे राहुल गांधी को रायबरेली के लोगों दिल खोलकर वोट दिया. राहुल गांधी 540773 वोट पाकर बीजेपी प्रत्याशी दिनेश प्रताप सिंह से 297583 वोट से आगे चल रहे हैं. दिनेश प्रताप सिंह को 243184 वोट मिले हैं. बसपा के ठाकुर प्रसाद यादव 10927 वोट पाकर तीसरे स्थान पर हैं. यूपी सरकार में मंत्री दिनेश प्रताप सिंह का इस बड़े अंतर से पिछड़ने के बाद बयान भी सामने आया है. उन्होंने रायबरेली के जनता से माफी मांगी है.
राहुल गांधी को रायबरेली ने स्वीकारा कांग्रेस के लिए रायबरेली (Raebareli Lok Sabha Election Result 2024) वो सीट है जहां मोदी लहर के बावजूद सोनिया गांधी ने 2014 और 2019 में जीत हासिल की थी. ये वो अकेली सीट है जिस पर 2019 में यूपी से कांग्रेस ने जीत हासिल की थी. जबकि अमेठी सीट गांधी परिवार ने गवां दी थी. इसलिए रायबरेली का महत्व गांधी परिवार के लिए बहुत बड़ा हो जाता है. लोकसभा चुनाव से ठीक पहले सोनिया गांधी के राजस्थान से राज्य सभा जाने के बाद रायबरेली सीट पर अंतिम क्षणों में राहुल गांधी को उम्मीदवार बनाया गया था. वो भी उस समय जब वो अमेठी की सीट स्मृति ईरानी के हाथों गवां चुके हैं. 2024 के चुनाव में रायबरेली के चुनाव पर देश-दुनिया की नजर रहेगी.
फीरोज गांधी, इंदिरा गांधी, सोनिया और अब राहुल
लोकसभा 2024 के चुनाव में रायबरेली सीट पर कांग्रेस की विरासत दांव पर है. रायबरेली लोकसभा सीट बीजेपी ने अपनी पूरी ताकत झोंक दी है. रायबरेली को कांग्रेस की पारंपरिक सीट इसलिए कहा जाता है कि फीरोज गांधी ने यहां सबसे पहले 1952 और 1957 में लोकसभा चुनाव जीता था. 1960 और 1962 में भी कांग्रेस ने इस सीट पर जीत दर्ज की. इसके बाद इंदिरा गांधी ने 1967 और 1971 में रायबरेली का प्रतिनिधित्व किया. जनता पार्टी की लहर में 1977 में राजनारायण से इंदिरा गांधी को यहां हार का सामना करना पड़ा था. लेकिन 1980 में दोबारा इंदिरा गांधी यहां से सांसद चुनी गईं. 1980 में दो सीटों से चुनाव लड़ने के कारण इंदिरा गांधी ने रायबरेली से इस्तीफा दे दिया था. इसके बाद यहां उपचुनाव कांग्रेस के अरुण नेहरू ने जीत हासिल की थी. इसके बाद 1984, 1989 और 1991 में भी कांग्रेस यहां लगातार काबिज रही थी.
1996 में बीजेपी की रायबरेली में एंट्री
रायबरेली में बीजेपी की एंट्री 1996 में हुई थी. यहां अशोक सिंह सांसद बने. इसके बाद वो 1988 में भी चुने गए. 1999 लोकसभा चुनाव में कैप्टन सतीश शर्मा ने वापस रायबरेली सीट कांग्रेस के खाते में डाल दी. इसके बाद 2004 में सोनिया गांधी ने विजय अभियान की शुरुआत की और 2009, 2014 और 2019 में भी जीत हासिल की. अब 2024 में इंदिरा गांधी के पौत्र राहुल गांधी इस सीट से दावेदार हैं. हालांकि वो वायनाड से भी चुनाव लड़ रहे हैं. बीजेपी ने यहां स्थानीय दिनेश प्रताप सिंह को चुनाव मैदान में उतारा है. वो यूपी सरकार में मंत्री हैं. बसपा से ठाकुर प्रसाद यादव चुनाव मैदान में हैं.