आर्टिफिशियल दीयों को पीछे छोड़ रहे ये गोबर से निर्मित औषधि दीए, बजार में काफी डिमांड
Dipawali 2023 Mein Kab Hai: राजधानी लखनऊ के कान्हा उपवन में संरक्षित भारतीय नस्ल के गोवंश के शुद्ध गोबर से कई प्रकार की मूर्तियां ,दीपक एवं हवन सामग्री से लेकर कई तरह के गौमैउत्पाद से निर्माण किया जा रहा है. यहां विगत चार वर्षो से दीपक और मूर्तियों का निर्माण कार्य किया जा रहा है.
Dipawali 2023 Mein Kab Hai: राजधानी लखनऊ के कान्हा उपवन में संरक्षित भारतीय नस्ल के गोवंश के शुद्ध गोबर से कई प्रकार की मूर्तियां ,दीपक एवं हवन सामग्री से लेकर कई तरह के गौमैउत्पाद से निर्माण किया जा रहा है. यहां विगत चार वर्षो से दीपक और मूर्तियों का निर्माण कार्य किया जा रहा है. इन मूर्तियों की मार्केट में बहुत ज्यादा मांग है क्योंकि यह पूर्ण रूप से प्राकृतिक है.