Lucknow: उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में राजभवन के गेट नंबर 13 पर महिला ने बच्चे को जन्म दिया है. दरअसल, रविवार को महिला रिक्शे से अस्पताल जा रही थी, तभी उसकी तबीयत बिगड़ गई. फिर लोगों ने फोन करके एम्बुलेंस बुलाया. मगर, एम्बुलेंस 1 घंटे तक नहीं पहुंची. इसके बाद वहां पर मौजूद महिलाओं चादर से घेरकर गेट पर ही डिलीवरी कराई. जानकारी के मुताबिक 1 घंटे बाद पुलिसकर्मी एम्बुलेंस के साथ मौके पर पहुंचे. इसके बाद आनन-फानन में महिला और बच्चे को लेकर झलकारी बाई हजरतगंज हॉस्पिटल लेकर पहुंचे. जहां डॉक्टरों ने नवजात को मृत घोषित कर दिया.
वहीं मामले की सूचना पर डिप्टी सीएम बृजेश पाठक अपनी पत्नी नम्रता के साथ अस्पताल पहुंचे. उन्होंने ओटी रूम में पीड़ित महिला से मुलाकात की. उन्होंने कहा, साढ़े चार माह का गर्भ था, प्रीमैच्योर डिलीवरी हुई है. एम्बुलेंस आने में देरी होने पर जांच के आदेश दिए गए हैं. जो भी जिम्मेदार होगा, उस पर कार्रवाई की जाएगी. इसके बाद डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक अपनी पत्नी के साथ पीड़ित पिता ब्रजेश को लेकर बैकुंठ धाम गए. यहां भ्रूण शव को दफनाया गया.
इस मामले को लेकर सपा नेता शिवपाल यादव ने सरकार पर निशाना साधा है. उन्होंने ट्वीट कर लिखा कि सूबे की स्वास्थ्य व्यवस्था अपने लाख विज्ञापनों व दावों के बावजूद वेंटिलेटर पर है. एम्बुलेंस न मिलने पर रिक्शे से अस्पताल जा रही गर्भवती महिला को राज भवन के पास सड़क पर प्रसव के लिए मजबूर होना पड़े, तो यह पूरी व्यवस्था के लिए शर्मनाक व सूबे की स्वास्थ्य व्यवस्था की असल हकीकत है.
कांग्रेस प्रवक्ता अंशु अवस्थी ने कहा, उत्तर प्रदेश में स्वास्थ्य सेवाओं का बुरा हाल है. मुख्यमंत्री आवास के क्षेत्र में महिला को जब इलाज नहीं मिल पाया. 4 दिन से एडमिट होने का प्रयास कर रही थी, मजबूरन सड़क पर निकल रहे लोगों ने सड़क पर प्रसव करवाया. इससे शर्मनाक क्या होगा, लेकिन सरकार के लोग AC में बैठकर झूठ पर झूठ बोले जा रहे कि सब ठीक है. पूरा विभाग भ्रष्टाचार में डूबा है.