वाराणसी : वरिष्ठ भाजपा नेता मुरली मनोहर जोशी ने महत्वाकांक्षी कार्यक्रम नमामि गंगे पर अपनी पार्टी नीत केंद्र सरकार से अलग रुख अख्तियार करते हुए कहा कि गंगा नदी की सफाई के लिए जिस प्रकार से परियोजना चलायी जा रही है, उससे अगले 50 साल में भी नदी साफ नहीं हो सकेगी.
स्वच्छ गंगा परियोजना पर अपनी आपत्तियां व्यक्त करते हुए जोशी ने कहा कि जब तक नदी में निर्बाध जल प्रवाह नहीं होता, गंगा की सफाई दूर का सपना होगा. जोशी ने कहा, जब तक नदी में निर्बाध जल प्रवाह नहीं होता, गंगा की सफाई दूर का सपना होगा. जिस प्रकार नदी को छोटे हिस्सों में बांटकर, छोटे जलाशयों में बदलकर इसकी सफाई की जा रही है, नदी अगले 50 साल में भी साफ नहीं हो सकती. उन्होंने कहा कि गंगा हमारी जीवनरेखा है और गंगा को कोई खतरा हमारी संस्कृति और परंपरा के लिए खतरा होगा.
जोशी ने गंगा में निर्बाध जल प्रवाह की वकालत की और केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी की अंतर्देशीय जलमार्ग परियोजना पर सवाल किए जिसमें भारी उत्पादों की ढुलाई के लिए गंगा नदी में बड़े बड़े पोत चलाने की बात की गयी है. उन्होंने कहा, गंगा में जहाज चलाना तो दूर, बड़ी नाव भी नहीं चल पाएंगी, इस योजना को लागू करने से पहले गंगा की मौजूदा स्थिति की जांच करा लें.
जोशी ने जहाजरानी मंत्रालय से पहले नदी की मौजूदा स्थिति तथा उसके भौगोलिक क्षेत्र पर गौर करने, फिर परियोजना के कार्यान्वयन पर फैसला करने की सलाह दी. उन्होंने कहा कि पंडित मदनमोहन मालवीय ने नदी में जल प्रवाह को कायम रखने के लिए अंग्रेजों से संघर्ष किया था और यहां तक कि हरिद्वार में गंगा नदी में सतत प्रवाह का न्यूनतम स्तर कायम रखने के लिए एक समझौते पर हस्ताक्षर करने के लिए बाध्य कर दिया था. इसका अंग्रेजों के शासनकाल तक पालन होता था. लेकिन अब इसकी उपेक्षा की जा रही है.