बंगालियों को देश से भगाना चाहती है भाजपा सरकार, एनआरसी के नाम पर की जा रही है राजनीति : अरूप
दुर्गापुर : दुर्गापुर सिटी सेंटर स्थित बिदिशा हाउजिंग कोऑपरेटिव की रजत जयंती के मौके पर समारोह का आयोजन किया गया. समारोह में मुख्य अतिथि के तौर पर कॄषि विपणन एवं समवाय मंत्री अरूप राय मौजूद थे.मंत्री का आवासन के लोगों ने जोरदार स्वागत किया. मौके पर विधायक विश्वनाथ पाडियाल, डॉ डीपी सरकार के अलावा हावड़ा […]
दुर्गापुर : दुर्गापुर सिटी सेंटर स्थित बिदिशा हाउजिंग कोऑपरेटिव की रजत जयंती के मौके पर समारोह का आयोजन किया गया. समारोह में मुख्य अतिथि के तौर पर कॄषि विपणन एवं समवाय मंत्री अरूप राय मौजूद थे.मंत्री का आवासन के लोगों ने जोरदार स्वागत किया. मौके पर विधायक विश्वनाथ पाडियाल, डॉ डीपी सरकार के अलावा हावड़ा एवं दुर्गापुर नगरनिगम के पार्षद भी मौजूद थे. कोऑपरेटिव की महिला सदस्यों ने सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत किये.
सभा में उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुये मंत्री ने कहा कि पूरे राज्य में 28000 समवाय बैंक हैं. पहले समवाय की हालत काफी खराब थी. जब से राज्य में तृणमूल कांग्रेस की सरकार बनी है तब से समवाय की हालत सुधारने के लिए प्रयास किया जा रहा है. आज समवाय काफी तेज गति से बढ़ रहा है. समवाय बैंक से किसानों को कर्ज दिया जाता है, जिससे उन्हें खेती में मदद मिलती है. इस आवासन को डीएसपी के रिटायर्ड कर्मियों ने बनाया है.
अरबन क्षेत्र में भी 6000 समवाय समिति है. देश की आजादी के बाद अगर समवाय में ठीक से काम किया गया होता तो आज इसकी दशा अलग रहती. लेकिन हमलोग हर प्रयास कर रहें हैं. समवाय में धांधली को रोकने का प्रयास किया जा रहा है. उन्होंने असम में एनआरसी के मामले में कहा कि भाजपा बंगालियों को देश से भगाना चाहती है. इसके खिलाफ तृणमूल कांग्रेस की नेत्री लड़ाई कर रही हैं. देश की जनता भाजपा की इस नीति का जवाब लोकसभा चुनाव में देगी.
एनआरसी के खिलाफ एसयूसीआई ने किया प्रदर्शन
दुर्गापुर. दुर्गापुर के सिटी सेंटर स्थित बस पड़ाव के समीप बुधवार को एसयूसीआई ने असम में जारी किये गये एनआरसी के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया. प्रभाति गोस्वामी, डोना गोस्वामी, सुनील गोस्वामी, विश्वनाथ मंडल, बबलू भट्टाचार्य सहित काफी संख्या में एसयूसीआई नेता उपस्थित थे. प्रभाती गोस्वामी ने कहा कि असम में एनआरसी का हवाला देकर वैद्य भारतीय नागरिकों के नाम भी हटा दिये गये हैं. सोची समझी रणनीति के तहत केन्द्र सरकार के इशारे पर ऐसा किया गया है. भाजपा सरकार के षडयंत्र के खिलाफ सभी को एकजुट होकर आंदोलन करना होगा.