आदिवासियों के बंद के कारण सड़क, रेल सेवा प्रभावित
आद्रा/बांकुड़ा : संथाली, अलचीकी भाषा के लिये स्कूलों में शिक्षक नियुक्त करने, आदिवासी शिक्षक तथा सरकारी कर्मियों का राजनीति कर तबादला बंद करने, कुर्मी को आदिवासी जाति बनाने का षडयंत्र बंद करने, संविधान में उल्लेखित पंचम आदिवासी तपसीली कानून चालू करने समेत विभिन्न मांगों को लेकर आदिवासी संगठन भारत जकात माझी परगना महल आहूत बंद […]
आद्रा/बांकुड़ा : संथाली, अलचीकी भाषा के लिये स्कूलों में शिक्षक नियुक्त करने, आदिवासी शिक्षक तथा सरकारी कर्मियों का राजनीति कर तबादला बंद करने, कुर्मी को आदिवासी जाति बनाने का षडयंत्र बंद करने, संविधान में उल्लेखित पंचम आदिवासी तपसीली कानून चालू करने समेत विभिन्न मांगों को लेकर आदिवासी संगठन भारत जकात माझी परगना महल आहूत बंद के कारण जिले की सड़क यातायात व्यवस्था ठप पड़ गयी.
रेल सेवा भी प्रभावित हुयी. सुबह से पुरूलिया-बराकर पांच नंबर राजमार्ग के नितुरिया थाना अंतर्गत हरीडी मोड़ के सामने, पुरूलिया-बांकुड़ा 60 (ए) राष्ट्रीय राजमार्ग के हुड़ा थाना अंतर्गत लालपुर मोड़ पर, पुरूलिया-मानबाजार सड़क के मानबाजार बाजार के समक्ष, पुरूलिया-रांची राजमार्ग के कोटशिला स्टेशन के समक्ष, पुरूलिया-बांकुड़ा-झाड़ग्राम राजमार्ग के कोयलापाल मोड़ के अलावा जिले के कई हिस्सों में संगठन ने सड़क जाम किया. वाहनों के जहां-तहां खड़ा रहने से नित्य यात्रियों वालों को काफी परेशानियों का सामना करना पड़ा.
हालांकि इस रोज पुरूलिया जिले के किसी भी स्थान में आदिवासी संगठन ने रेल अवरोध नहीं किया लेकिन बावजूद इसके पूरे जिले में रेल यातायात सेवा काफी प्रभावित हुयी. आद्रा मंडल रेल सूत्रों ने बताया कि आद्रा मंडल में स्क्रीन अवरोध का काफी प्रभाव पड़ा है.
मंडल के बांकुड़ा-मिदनापुर रेल मार्ग के कई स्थानों पर आदिवासी समाज के लोगों के रेल लाइन पर रेल रोको आंदोलन करने से खासकर पुरूलिया-आद्रा से खड़गपुर-हावड़ा जाने वाली ट्रेन पूरी तरह से बाधित हुई है. इस दौरान सात ट्रेनों को रद्द कर दिया गया है. दो ट्रेनों की दिशा परिवर्तित किया गया. 10 के लगभग एक्सप्रेस एवं पैसेंजर ट्रेनों को शॉर्ट टर्मिनेट कर दिया गया है.