बीआइएफआर से बाहर आने का मिला पत्र कंपनी मुख्यालय को

सांकतोड़िया : इस्टर्न कोलफील्ड लिमिटेड (इसीएल) को ‘बीमार कंपनी‘ के दायरे से बोर्ड फॉर इंडस्ट्रियल एंड फाइनेंशियल रिकंस्ट्रक्शन (बीआइएफआर) ने बाहर निकलने का आधिकारिक पत्र सोमवार को कंपनी को निर्गत कर दिया. सनद रहे कि बीते 11 फरवरी को नई दिल्ली में बीआईएफआर के समक्ष हुई सुनवायी में इसे बोर्ड से मुक्त करने का निर्णय […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | February 24, 2015 1:12 AM
सांकतोड़िया : इस्टर्न कोलफील्ड लिमिटेड (इसीएल) को ‘बीमार कंपनी‘ के दायरे से बोर्ड फॉर इंडस्ट्रियल एंड फाइनेंशियल रिकंस्ट्रक्शन (बीआइएफआर) ने बाहर निकलने का आधिकारिक पत्र सोमवार को कंपनी को निर्गत कर दिया. सनद रहे कि बीते 11 फरवरी को नई दिल्ली में बीआईएफआर के समक्ष हुई सुनवायी में इसे बोर्ड से मुक्त करने का निर्णय लिया गया था.
सुनवाई के समय कंपनी के सीएमडी राकेश सिन्हा, वित्त निदेशक चंदन कुमार दे एवं विभिन्न केंद्रीय यूनियनों के प्रतिनिधि मौजूद थे.
आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि इस पत्र की प्राप्ति के बाद कंपनी के निदेशक मंडल (बोर्ड ऑफ डायरेक्टर्स) की बैठक में बीआइएफआर मनोनीत निदेशक की मौजूदगी नहीं रहेगी.
बोर्ड के अधीन कंपनी के होने के कारण बोर्ड मनोनीत निदेशक की बैठक में उपस्थिति अनिवार्यता होती थी. इसके साथ ही बोर्ड ने भारतीय स्टेट बैंक को कंपनी की ‘मॉनिटरिंग एजेंसी‘ की जिम्मेदारी से भी मुक्त कर दिया है. गौरतलब है कि बोर्ड ने कंपनी की प्रगति की समीक्षा के लिए भारतीय स्टेट बैंक को नियुक्त कर रखा था.
सीएमडी श्री सिन्हा ने बताया कि पिछले कुछ वर्षो में कंपनी का प्रदर्शन बेहतर होने की वजह से जल्द ही कंपनी को ‘मिनी रत्न‘ कंपनी का दर्जा मिल जायेगा. कंपनी के स्तर से इसके लिए केंद्र सरकार के समक्ष आवेदन किया जायेगा. इसके लिए निर्धारित सभी शर्ते कंपनी पूरी करती है. बीआइएफआर से बाहर आने के बाद कंपनी 150 करोड रु पये तक की लागत वाली परियोजनाओं की मंजूरी का फैसला अपने स्तर से ले सकती है. पहले कंपनी 20 करोड़ रु पये तक की लागत की परियोजना को अपने स्तर से मंजूरी दे सकती थी. मिनी रत्न का दर्जा प्राप्त हो जाने के बाद कंपनी को और ज्यादा वित्तीय स्वायतत्ता प्राप्त हो जायेगी.
कंपनी के कार्मिक निदेशक केएस पात्र ने कहा कि यह उपलिब्ध कंपनी के लिए बहुत महत्वपूर्ण है. अथक प्रयासों की बदौलत कंपनी इस स्तर पर पहुंच पाई है. इसके लिए उन्होंने सभी श्रमिकों, कर्मचारियों, अधिकारियों, यूनियनों, राज्य सरकार, स्थानीय पुलिस एवं प्रशासन, ग्रामीण अंचल के निवासियों तथा अंशधारकों को बधाई दी.

Next Article

Exit mobile version