बर्नपुर बस स्टैंड में बसों की हड़ताल

बर्नपुर : बस कर्मियों के साथ मालिकों द्वारा र्दुव्‍यवहार किये जाने के खिलाफ आसनसोल सब डीविजनल मोटर ट्रांसपोर्ट वर्कर्स यूनियन (आइएनटीटीयूसी) के सचिव राजू अहलूवालिया के नेतृत्व में मंगलवार से बड़ी बसों के कर्मियों ने हड़ताल शुरू कर दी है. उन्होंने कहा है कि उनकी मांगें मिलने तक हड़ताल जारी रहेगी. जरूरत पड़ी तो मिनी […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | October 28, 2015 8:04 AM
बर्नपुर : बस कर्मियों के साथ मालिकों द्वारा र्दुव्‍यवहार किये जाने के खिलाफ आसनसोल सब डीविजनल मोटर ट्रांसपोर्ट वर्कर्स यूनियन (आइएनटीटीयूसी) के सचिव राजू अहलूवालिया के नेतृत्व में मंगलवार से बड़ी बसों के कर्मियों ने हड़ताल शुरू कर दी है. उन्होंने कहा है कि उनकी मांगें मिलने तक हड़ताल जारी रहेगी. जरूरत पड़ी तो मिनी बसों की भी हड़ताल होगी.
इस संबंध में हीरापुर थाने में शिकायत भी दर्ज करायी गयी है. यूनियन की बर्नपुर शाखा के सचिव शमीम खान उर्फ बांके ने बताया बस मालिक रिप्सी सिंह एवं शनि सिंह से मजदूरी मांगने गये बसकर्मी मोहम्मद हबीब के साथ अपने आवास पर र्दुव्‍यवहार किया. गाली देकर सम्बोधित किया. इसकी शिकायत यूनियन को मिली. यूनियन पदाधिकारियों ने इस संबंध में बस मालिक अनिल सिंह, आबिद खान, नादिम खान, मुकेश सिह ने बात की. लेकिन सभी ने हबीब को दोषी करार दिया. इससे बात और बिगड़ गयी.
बस मालिकों ने निकलने का फैसला किया. जब वे निकलने लगे तो यूनियन नेता बांके उनके वाहन के सामने लेट गये. उनका कहना था कि इस मामले का निपटारा होना चाहिए. मालिक श्री सिंह ने जाने की कोशिश की. बस कर्मचारियों को उग्र होते देख सभी बस मालिक निकल गये. इस संबंध में यूनियन नेताओं ने हीरापुर थाना में शिकायत दर्ज करायी. इधर सूचना पाकर यूनियन सचिव श्री अहलूवालिया वहां पहुंचे और बसकर्मियों को हड़ताल करने को कहा. सभी बड़ी बस स्टैंड में खड़ी हो गयी. श्री अहलुवालिया ने कहा कि यह मालिक व मजदूर की लड़ाई है. उन्होने कहा कि कई बसों की परमिट में गड़बड़ी है.
बस कर्मचारियो के लिए वेलफेयर फंड, टाइम चार्ट, रूट परमिट की गड़बड़ी दूर करने तथा एजेंटों कीनियुक्ति आदि की मांगें रखी गयी हैं. राज्य के श्रम मंत्री मलय घटक को भी पूरी जानकरी दी गयी है. यदि मालिकों ने इन मांगों को पूरा नहीं किया तो हड़ताल जारी रहेगी. जरूरत पड़ी तो मिनी बसों का परिचालन भी बंद किया जायेगा. बस मालिकों ने इस प्रकरण में टिप्पणी करने से इंकार कर दिया.

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