मालदा में 103 जाली नोट बरामद

नकली नोट. नोटबंदी के बाद फिर से सक्रिय हो गये जालसाज एनआइए ने एक सरगना को भी किया गिरफ्तार, पटना ले जाया गया मालदा : नोटबंदी से नकली नोटों के धंधेबाजों को जबरदस्त झटका लगा था. लेकिन लगता है कि वे फिर सक्रिय हो गये हैं. हालांकि सुरक्षा एजेंसियां भी जालसाजों को काबू में करने […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | February 15, 2017 11:23 PM
नकली नोट. नोटबंदी के बाद फिर से सक्रिय हो गये जालसाज
एनआइए ने एक सरगना को भी किया गिरफ्तार, पटना ले जाया गया
मालदा : नोटबंदी से नकली नोटों के धंधेबाजों को जबरदस्त झटका लगा था. लेकिन लगता है कि वे फिर सक्रिय हो गये हैं. हालांकि सुरक्षा एजेंसियां भी जालसाजों को काबू में करने के लिए तत्पर हैं.
बीएसएफ ने बड़ी सफलता हासिल करते हुए 2000 रुपये के 100 जाली नोट बरामद किये हैं, जिनका मूल्य दो लाख रुपये है. इसके अलावा एनआइए ने एक गांव में अभियान चलाकर 2000 के तीन नोट (मूल्य छह हजार रुपये) बरामद किये हैं. साथ ही जाली नोट के धंधे के एक सरगना को भी गिरफ्तार किया है. ये दोनों घटनाएं मंगलवार रात की हैं. बीएसएफ की 24 नंबर बटालियन के जवानों ने वैष्णवनगर थाना क्षेत्र में भारत-बांग्लादेश सीमा पर स्थित चरिअनंतपुर इलाके से एक पैकेट में बंद दो लाख रुपये के जाली नोट बरामद किये. वहीं एनआइए के अधिकारियों ने वैष्णवनगर थाने के सबदलपुर इलाके के मोहनपुर गांव से छह हजार रुपये के जाली नोट के साथ उमर फारूक उर्फ इलियास फिरोज (21) को गिरफ्तार किया. गिरफ्तार उमर फारूक को बुधवार को एनआइए अधिकारियों ने अदालत में पेश कर चार दिन की ट्रांजिट रिमांड पर पटना ले जाने का आवेदन दिया.
बीएसएफ सूत्रों ने बताया कि चरिअनंतपुर गांव के सीमांत इलाके में सीमा पार से प्लास्टिक पैकेट में बंद दो लाख रुपये के जाली नोट इस पार फेंके गये. यह नोट लेने के लिए एक तस्कर पहुंचा हुआ था, लेकिन जवानों ने उसका पीछा किया तो वह भाग गया. इसके बाद जवानों ने पैकेटबंद नोटों को अपने कब्जे में ले लिया. बीएसएफ जवानों ने बरामद जाली नोटों को दक्षिण बंगाल सीमांत मुख्यालय में आगे की जांच के लिए भेजा है. एनआइए ने जिस युवक को गिरफ्तार किया, उसके पास से जाली नोट मनीबैग में मिले.
उसके खिलाफ साल 2015 में बिहार के पटना इलाके में जाली नोट का धंधा करने का मामला दर्ज हुआ था. केन्द्रीय जांच एजेंसी और बिहार पुलिस काफी दिनों से उसकी तलाश में थी. गुप्त सूत्रों से मिली खबर के आधार पर मंगलवार रात उसे दबोच लिया गया. बुधवार को जब उसे मालदा अदालत में पेश किया गया, तो उसके परिवार के लोग भी वहां पहुंचे हुए थे.
उसकी पत्नी शाहनाज बीबी और मां लालमनि बीबी ने कहा कि उमर निर्दोष है और पुलिस ने उसे फंसाया है. हमारे गांव में हमारा एक पड़ोसी आलमगीर शेख जाली नोट का धंधा करता है. पुलिस ने उसे कुछ महीने पहले गिरफ्तार किया था. आलमगीर ने ही उमर को झूठे तरीके से फंसा दिया है.
इधर, एनआइए के अधिकारियों ने बताया कि 21 साल की उम्र में ही उमर फारूख जाली नोट के धंधे का बड़ा सरगना बन गया है. उसके खिलाफ दूसरे राज्य में जाली नोट के तस्करी का मामला दर्ज है. काफी दिनों से वह फरार चल रहा था. उसके ऊपर नजर रखी जा रही थी. मौका देखकर अभियान चलाया गया और छह हजार रुपये के जाली नोट के साथ उसे दबोच लिया गया. वह जाली नोट कहां से लाया, इस बारे में पता लगाने की कोशिश की जा रही है.

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