आसनसोल.
आसनसोल दुर्गापुर पुलिस कमिश्नरेट (एडीपीसी) साइबर क्राइम थाना को बड़ी सफलता हाथ लगी है. जामताड़ा (झारखंड) जिला के नारायणपुर थाना क्षेत्र अंतर्गत नावाडीह गांव के निवासी अरशद अंसारी (18), नारायणपुर गांव के निवासी अबुल हसन (28) और धनबाद (झारखंड) जिला के चिरकुंडा थाना अंतर्गत तालडांगा गांव के निवासी अलीम अंसारी (33) को पुलिस ने हीरापुर थाना क्षेत्र के रहमतनगर इलाके में स्थित शांतिनगर स्कूल के पास कार्तिक दास के आवास से मंगलवार को गिरफ्तार किया. ये तीनों आरोपी पिछले करीब छह माह से यहां किराये के आवास में साइबर अपराध को अंजाम दे रहे थे. प्राथमिक जांच में पता चला है कि देश के विभिन्न इलाकों के कई लोगों को इन्होंने लूटा है. इनमें से एक अरशद के मोबाइल नम्बर 6204890621 पर कुल छह लोगों ने देश के विभिन्न हिस्सों में ठगी की शिकायत की है. गिरफ्तारी के दौरान कुल छह मोबाइल फोन पुलिस ने जब्त किये. जिनमें से उक्त नंबर के सिम कार्ड के साथ एक फोन भी शामिल है. पुलिस उपायुक्त (सेंट्रल) डॉ अरविंद आनंद ने बुधवार को पत्रकार सम्मेलन में इसकी जानकारी दी. आरोपियों को बुधवार अदालत में पेश किया गया. जांच अधिकारी स्वरूप मुखर्जी ने आरोपियों की 10 दिनों की पुलिस रिमांड की अपील की. अदालत ने सात दिनों की रिमांड मंजूर की. आरोपियों के खिलाफ बीएनएस की धारा 319(2)/318(4)/316(2)/61(2)/338/336(3)/340(2) के तहत प्राथमिकी दर्ज हुई है.कैसे हुई आरोपियों की गिरफ्तारी
प्रतिबिंब ऐप के जरिये साइबर अपराधियों को पुलिस लगातार ट्रैक करती रहती है. यदि किसी फोन नंबर के माध्यम से कहीं साइबर ठगी हुई है और उस नंबर की शिकायत थाने में या एनसीआरपी पोर्टल में दर्ज है तो उस नंबर की पुलिस को हमेशा तलाश रहती है. देश के किसी भी कोने में यदि वह नंबर कार्य कर रहा है तो उसकी जानकारी उस इलाके की पुलिस को मिल जायेगी. प्रतिबिंब ऐप के जरिये उन्हें पता चल जायेगा कि वह फोन नंबर उनके इलाके में किस जगह सक्रिय है और पुलिस उसे फोन नंबर का उपयोग करनेवाले व्यक्ति को दबोच लेगी. इस मामले में भी पुलिस को प्रतिबिंब ऐप के जरिये 6204890621 नंबर का लोकेशन मिला और इस नंबर पर कुल छह लोगों ने ठगी की शिकायत दर्ज की थी. पुलिस ने लोकेशन के आधार पर छापेमारी की और एक ही जगह से तीन पकड़े गये.जामताड़ा, करमाटांड़, देवघर के साइबर गिरोह के साथ आरोपियों के हैं संबंध
सूत्रों के अनुसार प्राथमिक पूछताछ में यह बात सामने आयी है कि इन आरोपियों का संबंध जामताड़ा, करमाटांड़, देवघर आदि इलाकों में सक्रिय साइबर अपराधियों के गिरोह के साथ है और ये लोग उनके साथ मिलकर भी कार्य करते हैं. पुलिस को उम्मीद है कि इनकी गिरफ्तारी से बड़े नेटवर्क का खुलासा होगा. पुलिस उपायुक्त डॉ आनंद ने इसे साइबर क्राइम थाना पुलिस की बड़ी उपलब्धि बताया.कैसे देते थे यह लोग कांड को अंजाम
पुलिस उपायुक्त डॉ. आनंद ने बताया कि फेसबुक पर ये लोग क्रेडिट कार्ड सर्विस को लेकर बिजनेस ऐड देते थे. यदि कोई व्यक्ति यदि इनके ऐड पर क्लिक करता तो एक डेटा शीट आता था. जिसमें व्यक्तिगत सारी जानकारी देनी पड़ती थी. यह जानकारी मिलने के बाद ये लोग उस व्यक्ति को अपने निशाने पर ले लेते थे और विभिन्न माध्यमों से उसे अपने ठगी का शिकार बना लेते थे. अब तक इन लोगों ने कितनों को ठगा है, इनके साथी कौन-कौन है, पुलिस इसकी जांच में जुटी है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है