हर घर जल परियोजना का कार्य अगले वर्ष मार्च तक हो जायेगा पूरा : जिलाधिकारी

जिलाधिकारी एस पोन्नमबलम ने कहा है कि अगले वर्ष मार्च तक जिले में ‘हर घर जल’ परियोजना का कार्य पूरा कर लिया जायेगा. जिसे लेकर युद्धस्तर पर कार्य चल रहा है. जिले के आठ पंचायत समितियों के अंतर्गत 62 ग्राम पंचायत इलाकों के 87 गांव शत प्रतिशत टैप वाटर कनेक्टेड गांव बन गये हैं.

By Prabhat Khabar News Desk | October 16, 2024 9:38 PM

आसनसोल.

जिलाधिकारी एस पोन्नमबलम ने कहा है कि अगले वर्ष मार्च तक जिले में ‘हर घर जल’ परियोजना का कार्य पूरा कर लिया जायेगा. जिसे लेकर युद्धस्तर पर कार्य चल रहा है. जिले के आठ पंचायत समितियों के अंतर्गत 62 ग्राम पंचायत इलाकों के 87 गांव शत प्रतिशत टैप वाटर कनेक्टेड गांव बन गये हैं. इस परियोजना के तहत जिले के ग्रामीण इलाकों के कुल 2,53,795 घरों में नल के जरिये जल पहुंचाना है, जिसमें से 67 फीसदी कार्य पूरा हो चुका है. बाकी का कार्य मार्च 2025 तक पूरा कर लिया जायेगा. नवंबर माह में इसे लेकर समीक्षा बैठक होगी. पाइपलाइन बिछाने के लिए जहां-जहां खुदाई की गयी है उसे नवंबर तक सही तरीके से भराई करने के लिए पीएचइडी को कहा गया है. दुर्गापूजा के पहले से कार्य शुरू भी हो गया है. जल्द ही यह कार्य भी पूरा हो जायेगा. गौरतलब है कि वर्ष 2019 के केंद्रीय बजट में हर घर जल परियोजना के तहत ग्रामीण इलाके के हर घर में नल के जरिये स्वच्छ पानी पहुंचाने की घोषणा केंद्रीय वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण ने की थी. इस परियोजना का कार्य 2024 तक पूरा करने का लक्ष्य रखा गया था. विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) की एक रिपोर्ट के अनुसार वर्ष 2018 में पीने के असुरक्षित पानी के इस्तेमाल से भारत में 1,25,995 लोगों की मौत डायरिया से हुई थी. जिसके बाद से इस योजना को लागू करने की दिशा में सरकार ने बड़ा कदम उठाया.

पानी के लिए कई लोगों ने बहाये अपने खून, कोसते रहे प्रशासन को

पानी का पाइपलाइन बिछाने का कार्य पिछले एक वर्ष से जारी है. इस पाइपलाइन का 90 फीसदी हिस्सा सड़क के किनारे से होकर गांव और लोगों के घरों में जा रहा है. जिसके लिए सभी सड़कों की खुदाई की गयी है. यह सड़कें एकबार नहीं पांच-छह बार तक खोदी गयी हैं. जिसके बाद उन्हें ऐसे ही छोड़ दिया गया. ग्रामीण इलाके में अधिकांश सड़कें 10 से 12 फीट चौड़ी होती हैं. जिनमें से अधिकांश जगहों पर तीन फीट सड़क को काट कर पाइपलाइन बिछायी गयी और गड्ढे को खुदाई की मिट्टी से ढक दिया गया. सड़क छोटी हो गयी और सड़क पर जगह-जगह मिट्टी के ढेर से कई हादसे हुए. काफी लोगों ने इसमें अपने खून बहाया. जिलाधिकारी एस पोन्नमबलम ने इस बात को स्वीकार किया कि पाइपलाइन बिछाने को लेकर अधिकांश सड़के खराब हुईं, जिससे लोगों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. उन्होंने कहा कि सड़कों की मरम्मत के लिए पीएचइडी पर लगातार दबाव बनाया जा रहा है. नवंबर तक सभी सड़कों की मरम्मत करने के लक्ष्य के साथ कार्य चल रहा है.

कार्य पूरा करने में कांकसा सबसे आगे, जामुड़िया है सबसे पीछे

जिले में 2,53,795 घरों में नल के जरिये स्वच्छ जल पहुंचाने की योजना है. जिसमें कांकसा पंचायत समिति के अंतर्गत 50,219 घरों में 94.93 फीसदी की दर से 47,673 घरों में नल लगाने का कार्य पूरा हुआ है. बाराबनी पंचायत समिति के अंतर्गत 25,897 घरों में 87.52 फीसदी की दर से 22,666 घरों में, रानीगंज पंचायत समिति के अंतर्गत 23,013 घरों में 76.74 फीसदी की दर से 17,661 घरों में, सालानपुर पंचायत समिति के अंतर्गत 26,867 घरों में 65.97 फीसदी की दर से 17,724 घरों में, फरीदपुर दुर्गापुर पंचायत समिति के अंतर्गत 29,080 घरों में 63.59 फीसदी की दर से 18,491 घरों में, पांडवेश्वर पंचायत समिति के अंतर्गत 47,562 घरों में 52.76 फीसदी की दर से 16,407 घरों में, अंडाल पंचायत समिति के अंतर्गत 47,562 घरों में 52.32 फीसदी की दर से 23,933 घरों में और जामुड़िया पंचायत समिति के अंतर्गत 20,057 घरों में 39.46 फीसदी की दर से 7,915 घरों में नल लगाने का कार्य पूरा हो चुका है और इनमें से अधिकांश घरों में एक दिन के अंतराल पर एक से डेढ़ घंटे के लिए पानी आ रहा है. हालांकि यह नियमित नहीं है.

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