बर्नपुर.
केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल(सीआइएसएफ) की नयी पोस्टिंग नीति लागू हो गयी है. सीआइएसएफ देश की रणनीतिक व अहम संपत्तियों की सुरक्षा करती है. सीआइएसएफ बर्नपुर इकाई के डीआइजी प्रबोध कुमार ने बताया कि बल में शामिल होनेवाले और अराजपत्रित अधिकारियों की भर्ती देश के सभी क्षेत्रों में की जाती है, जिससे बल को क्षेत्रीय विविधता के साथ अखिल भारतीय स्वरूप मिलता है. सीआइएसएफ अधिनियम-1968 की धारा 15 से प्रावधान है कि बल के हर सदस्य को भारत के अंदर या बाहर किसी भी स्थान पर तैनात किया जा सकता है. अंतिम बार 2017 में जारी पोस्टिंग दिशानिर्देशों के बाद से केंद्रीय औद्योगिक बल ने उल्लेखनीय वृद्धि की. बल का विस्तार 1.5 लाख से बढ़ कर 1.9 लाख हो गया है. परिचालन इकाइयां 339 से बढ़ कर 359 हो गयी हैं. इसमें जेल सुरक्षा व संसद भवन परिसर जैसे नये क्षेत्रों में भी सुरक्षा देने की शुरुआत है. सीआइएसएफ के इतिहास में पहली बार उसके जवान अपने पसंद पर पोस्टिंग पा सकेंगे. बल के हर सदस्य को 10 पसंदीदा पोस्टिंग स्थान को सूचीबद्ध करने का अवसर मिलेगा. दो वर्ष के अंदर सेवानिवृत होनेवाले कर्मचारियों को दिये गये तीन विकल्पों में से एक स्थान पर पोस्टिंग दी जायेगी. उन्हें पोस्टिंग आर्डर जारी करने के दौरान व्यक्तियों के आवंटन में पहली प्राथमिकता दी जाएगी. इससे उन्हें बच्चों की शादी और सेवानिवृत्ति के बाद के मुद्दों को निपटाने की योजना बनाने में मदद मिलेगी. आजकल करियर के रूप में सीआइएसएफ में शामिल होने वाली महिलाओं की संख्या बढ़ती जा रही है. ऐसी महिला कर्मचारियों के लिए कार्य जीवन संतुलन पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है. जो महिला जवान अकेले अपने परिवार का प्रबंध करती है. नॉन चॉइस पोस्टिंग के छह साल बाद उनकी बची हुई सर्विस चॉइस पोस्टिंग होगी. विवाहित कामकाजी जोड़े अब अधिक विचारशील पोस्टिंग निर्णय के माध्यम से एक ही स्थान पर अधिक आसानी से कम कर सकते हैं. इसका उद्देश्य सीआइएसएफ में लचीलापन व संतुलन लाना है.डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है